HINDI CLASS 10TH QUESTION PAPER 2017 (ICSE)

HINDI

SECTION – A 

प्रश्न 1. निम्नलिखित विषयों में से किसी एक विषय पर हिन्दी में लगभग 250 शब्दों में संक्षिप्त लेख लिखिए :

(i) पुस्तकें ज्ञान का भंडार होती हैं तथा हमारी सच्ची मित्र एवम् गुरु भी होती हैं। हाल ही में पढ़ी गई अपनी किसी पुस्तक के विषय में बताते हुए लिखिए कि वह आपको पसन्द क्यों आई और आपने उससे क्या सीखा?

(ii) ‘पर्यावरण है तो मानव है’ विषय को आधार बनाकर पर्यावरण सुरक्षा को लेकर आप क्या-क्या प्रयास कर रहे हैं ? विस्तार से लिखिए।

(iii) कम्प्यूटर तथा मोबाइल मनोरंजन के साथ-साथ हमारी ज़रूरत का साधन अधिक बन गए हैं। हर क्षेत्र में इनसे मिलने वाले लाभों तथा हानियों का वर्णन करते हुए, अपने विचार लिखिए।

(iv) अरे मित्र ! “तुमने तो सिद्ध कर दिया कि तुम ही मेरे सच्चे मित्र हो” इस पंक्ति से आरम्भ करते हुए कोई कहानी लिखिए।

(v) प्रस्तुत चित्र को ध्यान से देखिए और चित्र को आधार बनाकर उसका परिचय देते हुए कोई एक कहानी अथवा घटना लिखिए जिसका सीधा व स्पष्ट सम्बन्ध चित्र से होना चाहिए।

ICSE Hindi Question Paper 2017 Solved for Class 10 1

उत्तर :

(i) पुस्तकें ज्ञान का भंडार होती हैं तथा पुस्तकों द्वारा ही हमारा बौद्धिक एवं मानसिक विकास संभव होता है। ज्ञान प्राप्ति का सर्वश्रेष्ठ साधन होने के साथ-साथ, पुस्तकें हमें सामाजिक व्यवहार, संस्कार, कर्तव्यनिष्ठा जैसे गुणों के संवर्धन में सहायक सिद्ध होती हैं तथा प्रबुद्ध नागरिक बनाने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। पुस्तकें हमारी सच्ची मित्र एवं गुरु भी होती हैं। अच्छी पुस्तकें चिंतामणि के समान होती हैं, जो हमारा मार्गदर्शन करती हैं तथा हमें असत् से सत् की ओर, तमस से ज्योति की ओर ले जाती हैं। पुस्तकें हमारा अज्ञान दूर करके हमें प्रबुदध नागरिक बनाती हैं।

जिस प्रकार संतुलित आहार हमारे शरीर को पुष्ट करता है, उसी प्रकार पुस्तकें हमारे मस्तिष्क की भूख को मिटाती हैं। समाज के परिष्कार, व्यावहारिक ज्ञान में वृद्धि एवं कार्यक्षमता तथा कार्यकुशलता के पोषण में भी पुस्तकों की महत्त्वपूर्ण भूमिका होती है। पुस्तकों के अध्ययन से हमारा एकाकीपन भी दूर होता है।

हाल में ही मैंने श्री विद्यालंकार द्वारा रचित ‘श्रीरामचरित’ नामक पुस्तक पढ़ी जो तुलसीदास द्वारा रचित ‘रामचरितमानस’ पर आधारित है। हिंदी में लिखी होने के कारण इसे पढ़ना सुगम है। इस रचना में ‘श्री राम’ की कथा को अत्यंत सरल भाषा में सात सर्गों में व्यक्त किया गया है। पुस्तक मूलत : तुलसी कृत रामचरितमानस का ही हिंदी अनुवाद प्रतीत होती है। यह पुस्तक मुझे बहुत पसंद आई तथा इसीलिए मेरी प्रिय पुस्तक’ बन गई। इस पुस्तक में पात्रों का चरित्र अनुकरणीय है। पुस्तक में लक्ष्मण, भरत और राम का, सीता और राम में पति-पत्नी का, राम और हनुमान में स्वामी-सेवक का, सुग्रीव और राम में मित्र का अनूठा आदर्श चित्रित किया गया है।

यह पुस्तक लोक-जीवन, लोकाचार, लोकनीति, लोक संस्कृति, लोक धर्म तथा लोकादर्श को प्रभावशाली ढंग से रूपायित करती है। श्री राम की आज्ञाकारिता तथा समाज में निम्न मानी जाने वाली जातियों के प्रति स्नेह, उदारता आदि की भावना आज भी अनुकरणीय है। ‘गुह’, ‘केवट’ तथा ‘शबरी’ के प्रति राम की वत्सलता अद्भुत है। श्री राम का मर्यादापुरुषोत्तम रूप आज भी हमें प्रेरणा देता है। उन्होंने जिस प्रकार अनेक दानवों एवं राक्षसों का विध्वंस किया, उससे यह प्रेरणा मिलती है कि हमें भी अन्याय का डटकर विरोध ही नहीं करना चाहिए वरन उसके समूल नाश के प्रति कृत संकल्प रहना चाहिए। सीता का चरित्र आज की नारियों को बहुत प्रेरणा दे सकता है। इस पुस्तक की एक ऐसी विशेषता भी है, जो तुलसी कृत रामचरितमानस से भिन्न है।

पुस्तक में लक्ष्मण की पत्नी उर्मिला के चरित्र को भी उजागर किया गया है। विवाह के उपरांत लक्ष्मण अपने अग्रज राम के साथ वन को चले गए; पर उनकी नवविवाहिता पत्नी उर्मिला अकेली रह गई। तुलसीदास जैसे महाकवि की पैनी दृष्टि भी उर्मिला के त्याग, संयम, सहनशीलता तथा विरह-वेदना पर नहीं पड़ी। विद्यालंकार जी ने उर्मिला के उदात्त चरित्र को बखूबी चिंत्रित किया है। पुस्तक में ज्ञान, भक्ति एवं कर्म का अद्भुत समन्वय प्रस्तुत किया गया है। पुस्तक के अंत में रामराज्य की कतिपय विशेषताओं का उल्लेख किया गया है।

‘रामराज्य’ की कल्पना हमारे राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने भी की थी। इस प्रकार पुस्तक में वर्णित रामराज्य आज के नेताओं एवं प्रशासन के लिए मार्गदर्शन का कार्य करता है। यद्यपि पुस्तक ‘श्रीराम’ के जीवन चरित्र पर आधारित है तथापि इसमें कहीं भी धार्मिक संकीर्णता आदि का समावेश नहीं है। यह पुस्तक सभी के लिए पठनीय तथा प्रेरणादायिनी है।

(ii) मानव और प्रकृति का संबंध अत्यंत प्राचीन है। प्रकृति ने मानव को अनेक साधन दिए, जिनसे उसका जीवन सुखद बना रहे, लेकिन मानव ने प्रकृति का शोषण करना आरंभ कर दिया तथा प्रकृति को अपनी ‘चेरी’ समझने की भूल करने लगा। वैज्ञानिक प्रगति’ को आधार बनाकर मनुष्य ने अपने पर्यावरण को ही प्रदूषित करना आरंभ कर दिया। वह यह भूल गया कि पर्यावरण है तो जीवन है। सृष्टि के आरंभ में प्रकृति में एक संतुलन बना हुआ था।

धीरे-धीरे बढ़ती जनसंख्या, नगरों की वृद्धि, वैज्ञानिक उपलब्धियों एवं औद्योगिक विकास के कारण प्रदूषण जैसी घातक समस्या का जन्म हुआ। आजकल वायु प्रदूषण, जल प्रदूषण, ध्वनि प्रदूषण एवं भूमि प्रदूषण के कारण स्थिति इस हद तक बिगड़ गई है कि अनेक घातक एवं असाध्य रोगों का जन्म हो रहा है तथा वातावरण अत्यंत विषाक्त हो गया है। प्रदूषण एक विश्व व्यापी समस्या है जिसका समाधान करना कठिन है, फिर भी इसकी रोकथाम के लिए समूचे विश्व में प्रयास किए जा रहे हैं; जैसे औद्योगिक इकाइयों को आबादी वाले क्षेत्रों से दूर स्थापित करना, वाहनों में पेट्रोल तथा डीजल के स्थान पर ऐसी गैसों का प्रयोग करना जो प्रदूषण मुक्त हों, औद्योगिक प्रतिष्ठानों के लिए ‘ट्रीटमेंट प्लांट’ लगाने तथा अपशिष्ट पदार्थों को किसी नदी में प्रवाहित न करने की बाध्यता तथा झुग्गी झोंपड़ियों को घनी आबादी से दूर बसाया जाना।

पर्यावरण सुरक्षा को लेकर आजकल प्रत्येक नागरिक प्रयासरत है। मैं भी इस दिशा में प्रयासरत हूँ। मैंने अपने मित्रों के साथ मिलकर ‘मित्र मंडल’ नाम से एक टोली बनाई है जो स्थान-स्थान पर जाकर स्वच्छता अभियान चलाती है तथा झुग्गी-झोंपड़ियों में जाकर उन्हें स्वच्छता रखने की प्रेरणा देती है। हमारी टोली को लोगों ने बहुत पसंद किया है तथा हमारे प्रयास से पर्यावरण को स्वच्छ रखने में सहायता मिली है। कुछ समाजसेवी संस्थाओं की ओर से हमें ऐसे डस्टबिन’ निःशुल्क दिए गए हैं जिन्हें हमने अपने नगर के विभिन्न स्थानों पर रखा है, जिससे कि लोग बेकार की चीजें, कागज़ के टुकड़े, फलों के छिलके आदि इसमें डालें।

हमारा यह प्रयास बहुत सफल रहा है तथा हमारी टोली के साथ बहुत से लोग जुड़ते जा रहे हैं। हम स्थान-स्थान पर जाकर ‘नुक्कड़ नाटकों’ के द्वारा भी लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरुकता लाने का प्रयास कर रहे हैं। सप्ताह में एक दिन हमारी टोली विभिन्न क्षेत्रों में जाकर श्रमदान करके स्वच्छता अभियान चलाते हैं। हमारे प्रयास को देखकर उन क्षेत्रों के निवासी भी स्वच्छता अभियान में संलग्न हो जाते हैं। हमारी टोली द्वारा पर्यावरण को स्वच्छ रखने के लिए एक ओर विशेष प्रयास किया है – वह है वृक्षारोपण का कार्यक्रम चलाना।

वृक्षारोपण पर्यावरण प्रदूषण को रोकने के लिए सर्वोत्तम उपाय माना गया है क्योंकि वृक्ष ही हमसे अशुद्ध वायु लेकर हमें शुद्ध वायु प्रदान करते हैं और पर्यावरण को स्वच्छ रखते हैं। हमने अपने आचार्यों की सहायता से नगर निगम के उद्यान विभाग की ओर से अनेक पौधे प्राप्त कर लिए हैं, जिन्हें हम अपने आचार्यों के मार्गदर्शन में ही शहर के स्थान-स्थान पर लगाते हैं तथा वहाँ के लोगों को भी वृक्षारोपण के लिए प्रेरित करते हैं। हमारे इस प्रयास की बहुत सराहना की गई है।

हमने एक सतर्कता अभियान भी चलाया है जिसके अंतर्गत पहले से लगे पेड़-पौधों के संरक्षण पर बल दिया जाता है, पहले से लगे पेड़-पौधों को पानी दिया जाता है तथा उन्हें काटने से रोका जाता है। हमारी अपेक्षा है कि हमारी तरह वे भी पर्यावरण को स्वच्छ तथा प्रदूषण मुक्त बनाने में अपना योगदान दें तथा स्वेच्छा से इसी प्रकार की गतिविधियों का संचालन करें जिनसे वातावरण प्रदूषण मुक्त हो सके।

(iii) विज्ञान के आविष्कारों ने आज दुनिया ही बदल दी है तथा मानव जीवन को सुख एवं ऐश्वर्य से भर दिया है। कंप्यूटर तथा मोबाइल फ़ोन भी इनमें अत्यंत उपयोगी एवं विस्मयकारी खोज हैं। कंप्यूटर को यांत्रिक मस्तिष्क भी कहा जाता है। यह अत्यंत तीव्र गति से न्यूनतम समय में अधिक-सेअधिक गणनाएँ कर सकता है तथा वह भी बिल्कुल त्रुटि रहित। आज तो कंप्यूटर को लेपटॉप के रूप में एक छोटे से ब्रीफकेस में बंद कर दिया गया है जिसे जहाँ चाहे वहाँ आसानी से ले जाया जा सकता है।

कंप्यूटर आज के युग की अनिवार्यता बन गया है तथा इसका प्रयोग अनेक क्षेत्रों में किया जा रहा है। बैंकों, रेलवे स्टेशनों, हवाई अड्डों आदि अनेक क्षेत्रों में कंप्यूटरों द्वारा कार्य संपन्न किया जा रहा है। आज के युद्ध तथा हवाई हमले कंप्यूटर के सहारे जीते जाते हैं। मुद्रण के क्षेत्र में भी कंप्यूटर ने क्रांति उत्पन्न कर दी है। पुस्तकों की छपाई का काम कंप्यूटर के प्रयोग से अत्यंत तीव्रगामी तथा सुविधाजनक हो गया है। विज्ञापनों को बनाने में भी कंप्यूटर सहायक हुआ है। आजकल यह शिक्षा का माध्यम भी बन गया है।

अनेक विषयों की पढ़ाई में कंप्यूटर की सहायता ली जा सकती है। कंप्यूटर यद्यपि मानव-मस्तिष्क की तरह कार्य करता है परंतु यह मानव की तरह सोच-विचार नहीं कर सकता केवल दिए गए आदेशों का पालन कर सकता है। निर्देश देने में ज़रा-सी चूक हो जाए तो कंप्यूटर पर जो जानकारी प्राप्त होगी वह सही नहीं होगी। कंप्यूटर का दुरुपयोग संभव है। इंटरनेट पर अनेक प्रकार की अवांछित सामग्री उपलब्ध होने के कारण वह अपराध प्रवृत्ति चारित्रिक पतन एवं अश्लीलता बढ़ाने में उत्तरदायी हो सकती है। कंप्यूटर के लगातार प्रयोग से आँखों की ज्योति पर बुरा प्रभाव पड़ता है।

इसका अधिक प्रयोग समय की बरबादी का कारण भी है। एक कंप्यूटर कई आदमियों की नौकरी ले सकता है। भारत जैसे विकासशील एवं गरीब देश में जहाँ बेरोजगारों की संख्या बहुत अधिक है, वहाँ कंप्यूटर इसे और बढ़ा सकता है। कंप्यूटर की भाँति मोबाइल फ़ोन भी आज जीवन की अनिवार्यता बन गया है। आज से कुछ वर्ष पूर्व इस बात की कल्पना भी नहीं की जा सकती थी कि हम किसी से बात करने के लिए किसी का संदेश सुनाने के लिए किसी छोटे से यंत्र को अपने हाथ में लेकर घूमेंगे। इस छोटे से यंत्र का नाम है, मोबाइल फ़ोन।

मोबाइल फ़ोन से जहाँ चाहे, जिससे चाहें, देश या विदेश में कुछ ही क्षणों में अपना संदेश दूसरों तक पहुँचाया जा सकता है और उनकी बात सुनी जा सकती है। यही नहीं इस उपकरण से (एस.एम.एस.) संदेश भेजे और प्राप्त किए जा सकते हैं। समाचार, चुटकुले, संगीत तथा तरह-तरह के खेलों का आनंद लिया जा सकता है। किसी भी तरह की विपत्ति में मोबाइल फ़ोन रक्षक बनकर हमारी सहायता करता है।

मोबाइल फ़ोन असुविधा का कारण भी है। किसी सभा, बैठक अथवा कक्ष में जब अचानक मोबाइल फ़ोन की घंटी बजती है या घंटी के स्थान पर कोई फ़िल्मी गीत बजता है, तो यह व्यवधान का कारण बन जाता है। आजकल तो अनचाहे फ़ोन बजते रहते हैं जिनमें अनेक प्रकार के अवांछित संदेश प्राप्त होते हैं। किसी को धमकी देने, डराने, बदनाम करने जैसे कुकृत्यों के लिए मोबाइल फ़ोन का ही प्रयोग किया जाता है। आजकल मोबाइल फ़ोन से फ़ोटों खींचे जा सकते हैं। इस सुविधा का प्रायः दुरुपयोग किया जा सकता है।

मोबाइल फ़ोन का सबसे बड़ा दुरुपयोग तब होता है जब वाहन चलाते समय चालक मोबाइल फ़ोन से बातचीत करने लगता है। इसके कारण अनेक दुर्घटनाएँ घटित हो जाती हैं। कुछ भी हो कंप्यूटर और मोबाइल फ़ोन आज के जीवन में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। जिनके बिना जीवन असंभव-सा लगता है।

(iv) “अरे मित्र ! तुमने तो सिद्ध कर दिया कि तुम ही मेरे सच्चे मित्र हो।” रवि ने अपने मित्र अजय से कहा, “मैं बहत भाग्यशाली हूँ कि मुझे तुम्हारे जैसा मित्र मिला।” रवि और अजय दोनों मित्र थे। दोनों एक ही कक्षा में पढ़ते थे। अजय जहाँ समृद्ध परिवार से था वहीं रवि की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी। ऐसा होने पर भी रवि बहुत स्वाभिमानी लड़का था। किसी के आगे हाथ पसारना उसे पसंद नहीं था। रवि पढ़ाई में होशियार होने के साथ खेलकूद में भी हमेशा आगे रहता था। वह अपनी विद्यालय की क्रिकेट टीम का उपकप्तान था। दूसरों की हर संभव सहायता करना उसकी आदत थी।

वैसे तो उसके अनेक मित्र थे परंतु अजय उसका सबसे प्रिय मित्र था। रवि के माता-पिता एक कारखाने में काम करते थे। एक दिन कारखाने में काम करते हुए उसके पिता दुर्घटनाग्रस्त हो गए। उनका दाँया हाथ मशीन में आ गया। डॉक्टर ने बताया कि हाथ को ठीक होने में तीनचार महीने का वक्त लगेगा। इसलिए तुम्हें तीन महीने घर पर रहकर आराम करना पड़ेगा। इसी विवशता के कारण वे नौकरी पर नहीं जा रहे थे। पिता के वेतन के अभाव में घर की आर्थिक स्थिति और भी बिगड़ गई। अब घर का खर्च केवल उसकी माता के वेतन पर ही चलता था।

रवि की वार्षिक परीक्षा निकट आ गई। रवि को अंतिम सत्र की फ़ीस तथा परीक्षा शुल्क जमा करना था पर रवि असमंजस में था कि करे तो क्या करे। एक दिन कक्षाध्यापिका ने रवि को अपने कक्ष में बुलाया और उसे अंतिम तिथि तक फ़ीस न जमा करवाने की बात कही। ऐसी स्थिति में परीक्षा में न बैठने तथा विद्यालय से नाम काटने की चेतावनी भी दी। कक्षाध्यापिका के कक्ष से निकलकर जब रवि कक्षा में पहुँचा तो वह बड़ा हताश लग रहा था।

उसे उदास देखकर अजय बोला, “मित्र ! क्या हुआ तुम बहुत उदास दिखाई दे रहे हो।” रवि पहले तो मौन रहा, पर बार-बार पूछने पर उसने सारी बात अपने मित्र को बता दी।। अजय बोला, “चिंता ना करो मित्र, ईश्वर बहुत दयालु है। वह कोई न कोई रास्ता अवश्य निकालेगा।” रवि ने अगले दिन से विद्यालय आना छोड़ दिया। जब रवि तीन-चार दिन स्कूल नहीं आया, तो अजय को चिंता हुई। उसने शाम को उसके घर जाने की सोची। जिस समय अजय वहाँ पहुँचा रवि अपने पिता जी को दवा पिला रहा था, उसकी माँ खाना बना रही थी।

अजय को देखकर रवि खुश हो गया। वह बोला, “अरे मित्र ! तुम विद्यालय क्यों नहीं आ रहे ?” तभी रवि की माँ बोली, “बेटा ! अभी फ़ीस के पैसों का इंतजाम नहीं हुआ है। मैं कोशिश कर रही हूँ।” रवि अगले दिन भी विद्यालय नहीं आया। उससे अगले दिन अजय जल्दी ही रवि के घर पहुंचा और उसे समझा-बुझाकर किसी तरह विद्यालय ले आया। रवि जब कक्षा में पहुँचा तो सीधे कक्षाध्यापिका के कक्ष में गया।

इससे पहले कि वह कुछ कहता कक्षाध्यापिका मुसकराकर बोली, “तुम्हें चिंता करने की आवश्यकता नहीं। तुम्हारी फ़ीस जमा हो चुकी है।” यह सुनकर रवि चौंका। कक्षाध्यापिका ने उसे बताया कि तुम्हारी फ़ीस तुम्हारे मित्र अजय ने जमा कर दी है। तभी छुट्टी की घंटी बज गई। रवि जब अजय के पास पहुँचा, तो उसकी आँखों में आँसू थे। अजय को देखते ही उसने उसे गले से लगा लिया और बोला, “मैं आजीवन तुम्हारा ऋणी रहूँगा। मैं तुम्हारे पैसे भी जल्दी चुका दूंगा।” किसी ने ठीक कहा है कि संकट के समय ही सच्ची मित्रता की पहचान होती है।

(v) प्रस्तुत चित्र का संबंध बाल मजदूरी से है। चित्र में कुछ लड़कियाँ संभवत : बीड़ी बना रही हैं। लड़कियों की आयु 8-10 वर्ष के बीच है। वे सभी अत्यंत निर्धन वर्ग से संबंधित हैं जिन्हें जीविकोपार्जन के लिए इस प्रकार के कार्य करने पड़ते हैं। यद्यपि बाल श्रम कानून की दृष्टि से जुर्म है तथापि भारत में असंख्य बच्चे इस बुराई में संलग्न हैं, ऐसे बच्चों का बचपन उदास है, जो आयु उनके खेलने-कूदने की तथा हाथों में कलम दवात एवं पुस्तकें लेने की है उसी आयु में वे अत्यंत घृणित एवं दयनीय वातावरण में बाल मजदूरी करने को विवश हैं ।

बाल मज़दूरी में लिप्त इन बच्चों को अत्यंत गंदे वातावरण में दस से बारह घंटे काम करना पड़ता है तथा वेतन के नाम पर इन्हें गिने-चुने सिक्के मिलते हैं। निर्धनता तथा किसी अन्य प्रकार की विवशता के कारण इन्हें मज़दूरी करनी पड़ती है। . इतना काम करने के बाद भी इन्हें दो मीठे बोल सुनने को नहीं मिलते। हर समय मालिक या ठेकेदार की डाँट-फटकार और झिड़कियाँ सुनने को मिलती हैं। सरकार की ओर से बाल मजदूरी रोकने के लिए सख्त कदम उठाने चाहिए और बाल मजदूरी के लिए विवश करने वालों पर सख्त कार्यवाही करनी चाहिए।

 

प्रश्न 2.निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर हिन्दी में लगभग 120 शब्दों में पत्र लिखिए :

(i) आपके क्षेत्र में एक ही साधारण-सा सरकारी अस्पताल है, जिसके कारण आम जनता को बहुत अधिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। उन परेशानियों का उल्लेख करते हुए एक और सुविधायुक्त सरकारी अस्पताल खुलवाने का अनुरोध करते हुए स्वास्थ्य अधिकारी को पत्र लिखिए।

(ii) ओलम्पिक में अपने देश के बढ़ते कदम देख कर आपको बहुत ही प्रसन्नता हो रही है। इस वर्ष के ओलम्पिक की उपलब्धियों को बताते हुए अपने मित्र को पत्र लिखिए।

उत्तर :

(i) स्वास्थ्य अधिकारी

(स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय, भारत सरकार)

शास्त्री भवन,

नई दिल्ली।

दिनांक ………..

विषय – अपने क्षेत्र में सरकारी अस्पताल खुलवाने के संबंध में।

मान्यवर महोदय,

मैं रोहिणी सेक्टर – 26 का निवासी दयाराम गर्ग हूँ तथा अपने क्षेत्र के विकास मंडल’ का अध्यक्ष भी हूँ। इस पत्र के माध्यम से मैं आपका ध्यान क्षेत्र के निवासियों की चिकित्सा संबंधी परेशानियों की ओर आकर्षित करना चाहता हूँ।

मान्यवर, हमारे क्षेत्र में केवल एक ही सरकारी अस्पताल है, वह भी अत्यंत साधारण तथा छोटे आकार का है। क्षेत्र की आम जनता को अपने इलाज के लिए बहुत कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। हमारा क्षेत्र घनी आबादी वाला क्षेत्र है। जिसके अधिकांश निवासी निम्न आय वर्ग के हैं। जिसके कारण वे बड़े-बड़े निजी अस्पतालों में इलाज नहीं करवा सकते। आपसे अनुरोध है कि वर्तमान सरकारी अस्पताल में आधुनिक सुविधाएँ उपलब्ध करवाई जाएँ तथा इस क्षेत्र में एक और सुविधायुक्त सरकारी अस्पताल खुलवाने के संबंध में तत्काल आवश्यक कार्यवाही की जाए।

धन्यवाद

भवदीय

दयाराम गर्ग

अध्यक्ष विकास मंडल, रोहिणी सेक्टर – 26।

(ii) परीक्षा भवन

………… नगर।

दिनांक ……..

प्रिय मित्र दिनेश,

सस्नेह नमस्कार।

मैं यहाँ कुशल हूँ। आशा है तुम भी सकुशल होंगे। तुम्हें जानकर प्रसन्नता होगी कि पिछले कुछ वर्षों में भारत में खेलों के स्तर पर सुधार हुआ है। नए उदीयमान खिलाड़ियों ने विभिन्न खेलों में अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया है, जिसे देखकर लगता है कि वे दिन दूर नहीं जब अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर खेलों में भारत विशेष स्थान प्राप्त करेगा।

रियो ओलंपिक 2016 में भारत की ओर से 124 खिलाड़ियों का सबसे बड़ा दल भेजा गया। ओलंपिक में स्वर्ण जीत चुके अभिनव बिंद्रा भारतीय दल के ध्वजवाहक बने और समापन पर साक्षी मलिक ने यह उत्तरदायित्व निभाया। यद्यपि हमारे खिलाड़ियों ने अपनी ओर से पूरा प्रयास किया परंतु केवल पी. वी. सिंधू एकल महिला बैडमिंटन में रजत और साक्षी मलिक फ्रीस्टाइल 58 कि. ग्रा. कुश्ती मे कांस्य पदक जीतने में सफल रही।

दीपा कर्माकर ने ओलंपिक में पहली बार भारतीय जिमनास्ट के रूप में पदार्पण किया और चौथे स्थान पर रही तथा प्रोदुनोवा वोल्ट सफलतापूर्वक करने वाली विश्व की पाँच जिमनास्टों में से एक बनी। बाईस वर्ष बाद भारतीय पुरुष हॉकी टीम क्वार्टर फाइनल तक पहुँची। इसी प्रकार मुक्केबाज़ विकास कृष्ण यादव मिडल वेट स्पर्धा में क्वार्टर फाइनल तक पहँचे। सानिया मिर्जा तथा रोहन बोपन्ना की जोडी टेनिस के मिश्रित युगल में मेडल के करीब तक पहुँची।

अभिनव बिंद्रा 10 मीटर एयर राइफल शूटिंग के मात्र आधे अंक से पदक से चूक गए। इस प्रकार भारतीय खिलाड़ियों का प्रदर्शन उतना अच्छा नहीं रहा जितना कि उनसे अपेक्षा की जा रही थी। परंतु खिलाड़ियों तथा भारत सरकार के खेल मंत्रालय ने अगले ओलंपिक में अच्छा प्रदर्शन करने का संकल्प लिया है, जो भविष्य के लिए अच्छा संकेत है।

अंकल-आंटी को मेरी नमस्ते कहना और चिंटू को प्यार।

तुम्हारा अभिन्न मित्र,

क. ख. ग.।

 

प्रश्न 3. निम्नलिखित गद्यांश को ध्यान से पढ़िए तथा उसके नीचे लिखे गए प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए। उत्तर यथासंभव आपके अपने शब्दों में होने चाहिए :

पंजाब में उस वर्ष भयंकर अकाल पड़ा था। उन दिनों वहाँ महाराणा रणजीत सिंह का राज था। उन्होंने यह घोषणा करवा दी, “महाराज के आदेश से शाही भण्डार-गृह हर जरूरतमंद के लिए खुला है। प्रत्येक ज़रूरतमंद एक बार में जितना उठा सके, ले जाए।” यह घोषणा सुनते ही गाँवों व शहरों से ज़रूरतमंदों की भीड़ राजमहल में उमड़ पड़ी। उन दिनों लाहौर में एक सद्गृहस्थ बूढ़े सज्जन रहते थे। वे कट्टर सनातनी विचारों के थे। उन्होंने जीवन में कभी भी किसी के आगे अपना हाथ नहीं फैलाया था। अँधेरा होने पर वह शाही भण्डार के दरवाजे पर पहुँचे।

द्वार खुला था किसी तरह की कोई जाँच-पड़ताल नहीं हुई। उन्होंने बड़े संकोच से अपनी चादर को फैलाया, उसके कोने में थोड़ा सा अनाज बाँध लिया। ज्यादा अनाज उठाना उनके लिए मुश्किल था। इतने में पगड़ी बाँधे एक व्यक्ति वहाँ आया। उसने कहा, “भ्राताजी आपने तो काफी कम अनाज लिया है।” बूढ़े सज्जन ने कहा, “असल में मैं बूढ़ा लाचार हूँ। इस अकाल में तो थोड़ा अनाज लेना ही सही है, जिससे सब ज़रूरतमंदों को मिल जाए।” उस व्यक्ति ने बूढ़े की गठरी खोल दी। उसमें भरपूर अनाज भर दिया।

बूढ़े सज्जन ने कहा, “मैं इतना अनाज नहीं उठा सकता और न ही इसकी मजदूरी का पैसा दे सकता हूँ।” इतने में उस अजनबी ने बूढ़े की गठरी अपने कन्धों पर ले ली और बूढ़े के पीछे-पीछे चल पड़ा। जब वे बूढ़े के घर के द्वार पर पहुँचे तो वहाँ दो बच्चे उनकी प्रतीक्षा कर रहे थे। उन्हें देखते ही वे बोले – “बाबा, कहाँ चले गए थे?” बूढ़ा खामोश रहा। अजनबी ने कहा, “घर में कोई बड़ा लड़का नहीं है ?” बूढ़ा बोला, “लड़का था लेकिन काबुल की लड़ाई में शहीद हो गया।

अब बहू है तथा मेरे ये पोते हैं।” वह अजनबी बोला, “भाई जी धन्य हैं आप, जिनका बेटा देश के लिए शहीद हो गया।” रोशनी में बूढ़े ने उस अजनबी को पहचान लिया। वे खुद महाराजा रणजीत सिंह थे। बूढ़े ने पोतों से कहा, “इनके सामने दंडवत प्रणाम करो।” और स्वयं भी प्रणाम करने लगे और थोड़ी देर बाद बोले, “आज मुझसे बड़ा पाप हो गया। आपसे बोझा उठवाया।””नहीं, यह पाप नहीं, मेरा सौभाग्य था कि मैं शहीद के परिवार की सेवा कर सका। आप सबकी सेवा करना मेरा फ़र्ज है। अब आप जीवन भर हमारे साथ रहिए और हमें कृतार्थ कीजिए।”

(i) राज्य को किस विपत्ति का सामना करना पड़ा था ? उन दिनों वहाँ के राजा कौन थे और उन्होंने उस समस्या का क्या समाधान निकाला? 

(ii) राजा ने राज्य में क्या घोषणा करवाई और क्यों ? 

(iii) बूढ़े आदमी के बारे में आप क्या जानते हैं ? उनका पूर्ण परिचय दीजिए। 

(iv) बूढ़े आदमी ने थोड़ा-सा अनाज ही क्यों लिया था ? कारण स्पष्ट करते हुए बताइए कि उस अजनबी व्यक्ति ने उस बूढ़े की कैसे सहायता की ? 

(v) इस गद्यांश से मिलने वाली शिक्षाओं पर प्रकाश डालिए। 

उत्तर :

(i) पंजाब राज्य को भयंकर अकाल का सामना करना पड़ा था। उन दिनों पंजाब में महाराजा रणजीत सिंह का राज था। भयंकर अकाल को देखते हुए उन्होंने निश्चय किया कि जनता को अनाज की कमी न रहे। इसका समाधान करने के लिए राज्य के शाही भंडार-गृह को सबके लिए खोल दिया जाना चाहिए।

(ii) राजा, महाराजा रणजीत सिंह ने घोषणा करवा दी कि राज्य का शाही भंडार-गृह सबके लिए खोल दिया गया है। जिस व्यक्ति को अनाज की आवश्यकता हो, वह एक बार में जितना अनाज उठा सके, शाही भंडार-गृह से ले जा सकता है।

(iii) बूढ़ा आदमी लाहौर का रहने वाला था। वह कट्टर सनातनी विचारों का था, अत्यंत स्वाभिमानी था तथा उसने जीवन में कभी किसी के आगे हाथ नहीं फैलाया था। अकाल ग्रस्त होने के कारण उसे भी विवशता में शाही भंडार-गृह से अनाज लेने जाना पड़ा।

(iv) बूढ़े आदमी ने अपनी चादर में थोड़ा-सा अनाज ही लिया, क्योंकि अधिक अनाज उठाना उसके लिए मुश्किल था। वृद्धावस्था एवं शारीरिक दुर्बलता के कारण वह अधिक अनाज नहीं उठा सकता था। पगड़ी बाँधे आए एक अजनबी ने उसकी चादर में भरपूर अनाज भर दिया और उस गठरी को अपने कंधों पर रखकर बूढ़े के घर तक पहुँचाया।

(v) इस गद्यांश से ये शिक्षाएँ मिलती हैं कि :

  1. देश के राजा को विनम्र, दयालु तथा परोपकारी होना चाहिए। किसी भी प्रकार की विपत्ति आने पर उसका हर संभव समाधान करना चाहिए।
  2. हमें वरिष्ठ नागरिकों तथा बड़े-बूढ़ों की हर प्रकार से सहायता करनी चाहिए और उनका सम्मान करना चाहिए।
  3. हमें शहीदों के परिवारों की हर प्रकार से सहायता करनी चाहिए।

 

प्रश्न 4. निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर निर्देशानुसार लिखिए :

(i) निम्नलिखित शब्दों में से किसी एक शब्द के दो पर्यायवाची शब्द लिखिए : आनंद, पुत्र, राक्षस।

(ii) निम्नलिखित शब्दों में से दो शब्दों के विलोम लिखिए : आलस्य, सदाचार, सामिष, कृत्रिम।

(iii) निम्नलिखित शब्दों में से दो शब्दों को शुद्ध कीजिए : प्रतीष्ठा, ग्रन्थ, परीस्थती।

(iv) निम्नलिखित में से किसी एक मुहावरे की सहायता से वाक्य बनाइए : अपना उल्लू सीधा करना, हाथ मलना।

(v) कोष्ठक में दिए गए निर्देशानुसार वाक्यों में परिवर्तन कीजिए :

(a) विद्यार्थी को जानने की इच्छा रखने वाला होना चाहिए। (रेखांकित शब्दों के स्थान पर एक शब्द का प्रयोग कीजिए।) –

(b) इतनी आयु होने पर भी वह विवाहित नहीं है। (‘नहीं’ हटाइए परन्तु वाक्य का अर्थ न बदले।)

(c) रात में सर्दी बढ़ जाएगी। (अपूर्ण वर्तमान काल में बदलिए।)

(d) अन्याय का सब विरोध करते हैं। (रेखांकित का विशेषण लिखते हुए वाक्य पुनः लिखिए।)

उत्तर :

(i) आनंद – हर्ष, प्रसन्नता

पुत्र – बेटा, सुत

राक्षस – दानव, निशाचर

(ii) आलस्य – स्फूर्ति

सदाचार – दुराचार

सामिष – निरामिष

कृत्रिम – स्वाभाविक

(iii) प्रतिष्ठा, ग्रंथ, परिस्थिति।

(iv) अपना उल्लू सीधा करना – अधिकांश लोग धनी एवं प्रभावशाली लोगों से अपना उल्लू सीधा करने के लिए मित्रता का ढोंग रचाते हैं।

हाथ मलना – समय पर काम न करने वाले लोग हाथ मलते रह जाते हैं।

(v) (a) विद्यार्थी को जिज्ञासु होना चाहिए।

(b) इतनी आयु होने पर भी वह अविवाहित है।

(c) रात में सर्दी बढ़ रही है।

(d) अन्याय के सब विरोधी हैं।

SECTION – B

साहित्य सागर – संक्षिप्त कहानियाँ

प्रश्न 5. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“उसने कोई बहाना न बनाया। चाहता तो कह सकता कि यह साजिश है। मैं नौकरी नहीं करना चाहता इसीलिए हलवाई से मिलकर मुझे फँसा रहे हैं, पर एक और अपराध करने का साहस वह न जुटा पाया। उसकी आँखें खुल गई थीं।”

[बात अठन्नी की – सुदर्शन]

(i) किसे कौन फँसा रहा था ? उसने क्या अपराध किया था ? 

(ii) रसीला कौन है ? उसका परिचय दीजिए। 

(iii) हमें अपने नौकरों से कैसा व्यवहार करना चाहिए ? कहानी के आधार पर उदाहरण देकर समझाइए। 

(iv) इस कहानी में लेखक ने समाज की कौन-सी बुराई को प्रकट करने का प्रयास किया है ? क्या वे अपने प्रयास में सफल हुए ? समझाकर लिखिये। 

उत्तर :

(i) रसीला को कोई फँसा नहीं रहा था। हाँ, यदि वह चाहता तो कोई बहाना बनाकर कह सकता था कि उसके मालिक जगत सिंह हलवाई से मिलकर उसे फँसा रहे हैं। रसीला ने अपने मालिक द्वारा पाँच रुपये की जलेबी मँगाये जाने पर उसमें से अठन्नी की हेरा-फेरी की थी।

(ii) रसीला इंजीनियर बाबू जगतसिंह के यहाँ नौकर था, जिसे दस रुपया मासिक वेतन मिलता था। वह इसीवेतन से गाँव में रहने वाले अपने बूढ़े पिता, पत्नी, एक लड़की और दो लड़कों का पालन-पोषण करता था।

(iii) हमें नौकरों से मानवता से भरा व्यवहार करना चाहिए। हमें उनकी हर समस्या तथा कठिनाई आदि का ध्यान रखना चाहिए। जहाँ तक संभव हो, उसका समाधान करना चाहिए। हमें प्रतिवर्ष उनके वेतन में भी वृद्धि करनी चाहिए। हमें सोचना चाहिए, जो व्यक्ति हमारी इतनी सेवा करता है यदि कभी उनसे थोडीबहुत भूल-चूक हो भी जाए तो उसे क्षमा कर देना चाहिए। जगत सिंह को जब पता चला कि रसीला ने जलेबियाँ लाने में अठन्नी की हेरा-फेरी की है तथा उसने अपना अपराध स्वीकार कर लिया है तो उसका पहला अपराध समझकर उसे क्षमा कर देना चाहिए था।

(iv) इस कहानी में लेखक ने समाज में व्याप्त रिश्वतखोरी एवं भ्रष्टाचार जैसी बुराई को प्रकट करने का प्रयास किया है। समाज के उच्च तथा प्रतिष्ठित पदों पर आसीन लोग रिश्वत लेकर भी सम्मानित जीवन व्यतीत करते हैं जबकि एक निर्धन व्यक्ति केवल अठन्नी की हेरा-फेरी करने के जुर्म में छह महीने का कारावास भोगने पर मजबूर है। कहानी में बाबू जगतसिंह की हृदयहीनता का भी पर्दाफाश किया गया है। लेखक अपने प्रयास में पूरी तरह सफल रहा है, क्योंकि रसीला द्वारा अठन्नी की हेरा-फेरी करने का अपराध स्वीकार कर लेने तथा उसके पहले अपराध को क्षमा किए जाने की प्रार्थना के बावजूद उसे छह महीने का कारावास हो गया।

 

प्रश्न 6. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“नेताजी सुंदर लग रहे थे। कुछ-कुछ मासूम और कमसिन । फ़ौजी वर्दी में। मूर्ति को देखते ही ‘दिल्ली चलो’ और ‘तुम मुझे खून दो …’ वगैरह याद आने लगते थे। इस दृष्टि में यह सफल और सराहनीय प्रयास था। केवल एक चीज़ की कसर थी जो देखते ही खटकती थी।”

[नेताजी का चश्मा – स्वयं प्रकाश]

(i) मूर्ति किसकी थी और वह कहाँ लगाई गई थी ? 

(ii) यह मूर्ति किसने बनाई थी और इसकी क्या विशेषताएँ थीं? 

(iii) मूर्ति में क्या कमी थी ? उस कमी को कौन पूरा करता था और कैसे ? 

(iv) नेताजी का परिचय देते हुए बताइए कि चौराहे पर उनकी मूर्ति लगाने का क्या उद्देश्य रहा होगा ? क्या उस उद्देश्य में सफलता प्राप्त हुई ? स्पष्ट कीजिए। 

उत्तर :

(i) मूर्ति नेताजी सुभाषचंद्र बोस की थी, जो संगमरमर की थी। इसे शहर के मुख्य बाज़ार के मुख्य चौराहे पर लगाया गया था।

(ii) यह मूर्ति कस्बे के इकलौते हाई स्कूल के इकलौते ड्राइंग मास्टर मोतीलाल जी द्वारा बनाई गई थी। मूर्ति संगमरमर की थी। टोपी की नोक से दूसरे बटन तक कोई दो फुट ऊँची थी- जिसे कहते हैं बस्ट और सुंदर थी। नेताजी फ़ौजी वर्दी में थे।

(iii) शहर के मुख्य बाज़ार के मुख्य चौराहे पर लगी नेताजी सुभाषचंद्र बोस की मूर्ति में एक चीज़ की कमी थी नेताजी की आँखों पर चश्मा नहीं था। अर्थात् चश्मा संगमरमर का नहीं था। एक सामान्य और सचमुच के चश्मे का चौड़ा काला फ्रेम मूर्ति को पहना दिया गया था। मूर्ति को चश्मा पहनाने का काम चश्मा बेचने वाला एक बूढ़ा मरियल-सा लँगड़ा आदमी करता था जिसे कैप्टन कहते थे जो घूम-घूमकर चश्में बेचा करता था। वह अपने चश्मों में से एक चश्मा मूर्ति पर लगा देता था। जब किसी ग्राहक को मूर्ति पर लगे चश्मे को खरीदने की इच्छा होती तो वह मूर्ति से चश्मा हटाकर वहाँ कोई दूसरा फ्रेम लगा देता था।

(iv) नेताजी सुभाष चंद्र बोस एक महान देशभक्त और क्रांतिकारी थे। इन्होंने भारत की स्वाधीनता के लिए संघर्ष किया तथा विदेश में जाकर आज़ाद हिंद फौज का गठन किया। इन्होंने ‘दिल्ली चलो’ तथा ‘तुम मुझे खून दो मैं तुम्हें आजादी दूंगा’ जैसे नारे दिए। चौराहे पर इनकी मूर्ति लगाने का उद्देश्य यही रहा होगा कि इन्हें देखकर लोगों को देशभक्ति की प्रेरणा मिले। इस उद्देश्य में सफलता अवश्य मिली, क्योंकि मूर्ति देखकर लोगों को उनके नारे याद आते थे और उनमें देशभक्ति की भावना हिलोरें लेने लगती थी।

 

प्रश्न 7. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :”बड़े भोले हैं आप सरकार ! अरे मालिक, रूप-रंग बदल देने से तो सुना है आदमी तक बदल जाते हैं। फिर ये तो सियार है।”

भेड़े और भेड़िए – हरिशंकर परसाई]

(i) उपर्युक्त कथन कौन, किससे क्यों कह रहा है ? 

(ii) बूढ़े सियार ने भेड़िये का रूप किस प्रकार बदला ?

(iii) यह कैसी कहानी है, बूढ़े सियार ने किन तीन बातों का ख्याल रखने के लिए कहा ? क्यों कहा? 

(iv) सियारों को किन-किन रंगों में रंगा गया ? वे किसके प्रतीक थे ? इस कहानी से आपको क्या शिक्षा मिलती 

उत्तर :

(i) उपर्युक्त कथन सियार ने भेड़िये का हाथ चूमकर कहा है। बूढ़ा सियार अपने साथ तीन रँगे सियारों को लाया था उसने भेड़िये से कहा था कि ये आपकी सेवा करेंगे और आपके चुनाव का प्रचार भी करेंगे। जब भेडिये ने रँगे सियारों के प्रति आशंका प्रकट की तब बूढ़े सियार ने उपर्युक्त कथन कहा।

(ii) बूढे सियार ने सियारों को रँगने के साथ-साथ भेडिये का रूप भी बदला। उसके मस्तक पर तिलक लगाया। गले में कंठी पहनाई और मुँह में घास के तिनके खोंस दिए। इस प्रकार उसने भेड़िए को पूरा संत बना दिया।

(iii) प्रस्तुत कहानी प्रतीकात्मक है जिसमें तीखा व्यंग्य समाहित है। कहानी में स्पष्ट किया गया है कि प्रजातंत्र के नाम पर स्वार्थी, ढोंगी और चालाक राजनेता जनता को भ्रमित कर अपना उल्लू सीधा करते हैं। बूढ़े सियार ने भेड़िये को तीन बातों का ख्याल रखने को कहा – अपनी हिंसक आँखों को ऊपर मत उठाना हमेशा ज़मीन की ओर देखना और कुछ मत बोलना क्योंकि इन पर अमल न करने से पोल खुल जाएगी और बना बनाया काम बिगड़ जाएगा।

(iv) बूढे सियार ने सियारों को तीन रंगों में रँगा। पहले सियार को पीले रंग में रंगा जिसे विद्वान, कवि, विचारक और लेखक बताया गया। दूसरे सियार को नीले रंग में रंगा, जो नेता और पत्रकार का प्रतीक बताया गया। तीसरे सियार को हरे रंग में रंगा गया तथा उसे धर्मगुरु बताया गया। इस कहानी से हमें शिक्षा मिलती है कि हमें धोखेबाज़, झूठे, ढोंगी एवं चालाक राजनेताओं के बहकावे में नहीं आना चाहिए तथा उनसे सावधान रहना चाहिए।

साहित्य सागर – पद्य भाग

प्रश्न 8. निम्नलिखित पद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“मेघ आए बड़े बन-ठन के,

सँवर के आगे-आगे नाचती-गाती बयार चली,

दरवाज़े-खिड़कियाँ खुलने लगी गली-गली,

पाहुन ज्यों आये हों, गाँव में शहर के !

मेघ आए बड़े बन-ठन के, सँवर के !”

[मेघ आए – सर्वेश्वर दयाल सक्सेना]

(i) मेघ कहाँ आए हुए हैं ? कवि को मेघ देखकर क्या प्रतीत हो रहा है ? 

(ii) ‘बयार’ शब्द से आप क्या समझते हैं ? कवि इसके बारे में क्या बताना चाहता है ? 

(iii) दरवाज़े-खिड़कियाँ क्यों खुलने लगी हैं ? किसका स्वागत कहाँ पर किस प्रकार किया जाने लगा है ? कवि के भाव स्पष्ट कीजिए। 

(iv) कविता का केन्द्रीय भाव लिखिए। 

उत्तर :

(i) मेघ बन-ठन कर आसमान में आए हुए हैं। मेघों को देखकर कवि को ऐसा लगा जैसे शहर से बन-ठन कर सज-सँवर कर कोई मेहमान (दामाद) किसी गाँव में आया हुआ हो।

(ii) बयार’ शब्द का अर्थ है – ‘हवा’। कवि यह स्पष्ट करना चाहता है कि जिस प्रकार किसी मेहमान के आगे-आगे नाचती-गाती कोई नटी या नर्तकी चलती है उसी प्रकार मेघों के घिरने तथा वर्षा के आगमन की खुशी में हवा चलने लगी।

(iii) बादल रूपी मेहमान (दामाद) बन-ठन कर, सज-सँवर कर आ रहे हैं, जिसके सामने नाचती-गाती हवा चल रही है, तो उस अतिथि को देखने के लिए लोगों ने प्रसन्न होकर अपने घरों के दरवाजे और खिड़कियाँ खोल दी हैं। बूढ़े पीपल ने मेघ रूपी अतिथि का अभिवादन किया। हर्षित ताल परात भरकर पानी लाया। नदी ने यूंघट सरकाकर बाँकी चितवन से उसे उसी प्रकार देखा जैसे कोई प्रियतमा अपने प्रियतम को देखती है। पेड़ों ने भी उचक-उचककर अतिथि की ओर निहारा।

(iv) श्री सर्वेश्वर दयाल सक्सेना द्वारा रचित ‘मेघ आए’ शीर्षक कविता में मेघों के आगमन का शब्द चित्र उपस्थित किया गया है। मेघों के बन-ठन कर आगमन पर हवा नाचते-गाते चल रही है। पेड़ गरदन उचकाकर मेघों की ओर निहार रहे हैं। नदी चूँघट सरकाकर बाँकी चितवन से मेघों को देख रही है। धूल घाघरा उठाकर भाग रही है। बूढ़े पीपल ने मेघों का अभिवादन किया। इन सभी प्रयोगों से मेघों का आगमन चित्रात्मक बन गया है।

 

प्रश्न 9. निम्नलिखित पद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“गुरु गोविंद दोऊ खड़े काके लागू पायँ।”

बलिहारी गुरु आपनो जिन गोविंद दियो बताय।।

जब मैं था तब हरि नहीं, अब हरि हैं मैं नाहि।

प्रेम गली अति साँकरी, तामे दो न समाहि ।।

[साखी – कबीर दास]

(i) कवि किसके बारे में क्या सोच रहे हैं ? 

(ii) कवि किसके ऊपर न्योछावर (समर्पण) हो जाना चाहते हैं तथा क्यों ? 

(iii) ईश्वर का वास कहाँ नहीं होता है ? कवि हमें क्या त्यागने की प्रेरणा दे रहें हैं ? कवि का संक्षिप्त परिचय देते हुए बताइए। 

(iv) ‘साँकरी’ शब्द का क्या अर्थ है ? प्रेम गली से कवि का क्या तात्पर्य है ? उसमें कौन दो एक साथ नहीं रह सकते हैं समझाइए। 

उत्तर :

(i) कवि कबीरदास ईश्वर एवं अपने गुरु के बारे में सोच रहे हैं कि उसके सामने दोनों खड़े हैं। वह असमंजस में है कि इन दोनों में से वह किसके चरण सबसे पहले स्पर्श करे- अपने गुरु के या ईश्वर के ?

(ii) कबीरदास अपने समक्ष गुरु एवं ईश्वर को पाकर अपने गुरु पर न्योछावर हो रहे हैं। अर्थात् वे अपने गुरु पर बलिहारी जा रहे हैं, क्योंकि गुरु ने ही भगवान तक पहुँचने का मार्ग बताया था, अर्थात् गुरु की कृपा के बिना वे ईश्वर को नहीं पा सकते थे।

(iii) आम आदमी ईश्वर को खोजने के लिए जगह-जगह भटकता फिरता है। वह धार्मिक स्थानों में, पूजागृहों में, तीर्थ स्थानों में, ईश्वर की खोज में भटकता फिरता है। वह पवित्र नदियों पर जाकर भी ईश्वर को खोजता है, परंतु कवि के अनुसार इन सब स्थानों में ईश्वर का निवास नहीं होता। कवि ने इन सब प्रकार के ढोंगों को त्यागने की सलाह दी है। कबीर निर्गणवादी संत कवि थे, जो ढोंग-ढकोसलों तथा आडंबरों के विरोधी थे। उनके अनुसार ईश्वर का निवास स्थान मनुष्य के हृदय में है तथा ईश्वर निराकार एवं घट-घट वासी है। कबीर मूर्ति पूजा के विरोधी थे तथा उन्होंने हिंदुओं और मुसलमानों को उनके अंधविश्वासों एवं रूढ़ियों के कारण फटकारा।

(iv) ‘साँकरी’ का अर्थ है – ‘तंग’। ‘प्रेम की गली’ का अर्थ है – ईश्वर से साक्षात्कार करने का मार्ग। अर्थात् वह मार्ग जिसका अनुसरण करके ईश्वर तक पहुँचा जा सकता है। जिस प्रकार कोई गली इतनी तंग हो कि उसमें दो व्यक्तियों को भी स्थान नहीं मिल सके, उसी प्रकार ईश्वर को पाने के मार्ग में दो बातों को स्थान नहीं दिया जा सकता-अहंकार एवं ईश्वर। अर्थात् जब तक व्यक्ति के हृदय में अहंकार विद्यमान है तब तक वह ईश्वर का साक्षात्कार नहीं कर सकता। ईश्वर से मिलन के लिए अहंकार को छोड़ना आवश्यक है

 

प्रश्न 10. निम्नलिखितं पद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

सुनूँगी माता की आवाज़

रहूँगी मरने को तैयार।

कभी भी उस वेदी पर देव

न होने दूंगी अत्याचार।।

न होने दूंगी अत्याचार

चलो, मैं हों जाऊँ बलिदान

मातृ मंदिर से हुई पुकार,

चढ़ा दो मुझको, हे भगवान।।

[मातृ मंदिर की ओर – सुभद्रा कुमारी चौहान]

(i) ‘मातृ मंदिर’ से क्या तात्पर्य है ? वहाँ से कवयित्री को क्या पुकार सुनाई दे रही है ? 

(ii) कवयित्री अपनी मातृभूमि की रक्षा के लिए क्या करने को तैयार है और क्यों? 

(iii) मंदिर तक पहुँचने के मार्ग में कवयित्री को किन-किन कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है ? 

(iv) प्रस्तुत पद्यांश में कवयित्री की किस भावना को दर्शाया गया है ? वह इस कविता के माध्यम से पाठकों को क्या सन्देश देना चाहती हैं ? 

उत्तर :

(i) कवयित्री सुभद्रा कुमारी चौहान ने अपनी मातृभूमि को ‘मातृ मंदिर’ के समान बताया है तथा अपनी पावन . धरती को ही मातृमंदिर कहा है। कवयित्री को मातृभूमि के प्रांगण से बलिदान के लिए स्वरों की गूंज सुनाई दे रही है। अर्थात् उसकी मातृभूमि उससे बलिदान की अपेक्षा कर रही है।

(ii) कवयित्री अपनी मातृभूमि पर अपना सर्वस्व बलिदान करने को तैयार है। अर्थात् अपने देश को पाप और अत्याचार से बचाने के लिए अपने प्राणों की बलि देने को तत्पर है, क्योंकि वह स्वयं को मातृभूमि की सुपुत्री मानती है। जिस प्रकार कोई पुत्र अथवा पुत्री अपनी माता के कष्टों के निवारण के लिए हर संभव प्रयास करता है, उसी प्रकार वह भी अपनी मातृभूमि के प्रति अपने कर्तव्यों का वहन करना चाहती है।

(iii) मातृभूमि रूपी ‘मातृमंदिर’ तक पहुँचने में कवयित्री को अनेक प्रकार की कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। वहाँ तक पहुँचने का मार्ग कठिन है तथा चारों ओर बहुत से पहरेदार हैं। मातृमंदिर तक पहुँचने के लिए सीढ़ियाँ भी ऊँची हैं जिन पर चढ़ने पर पैर भी फिसलते हैं। कवयित्री के चरण दुर्बल हैं। अर्थात् मातृभूमि पर विदेशी शासक अत्याचार कर रहे हैं। ये शासक अत्यंत शक्तिशाली हैं, जिनसे टक्कर लेना आसान नहीं है फिर भी कवयित्री उनसे टकराने का संकल्प करती है।

(iv) प्रस्तुत पद्यांश में कवयित्री सुभद्रा कुमारी चौहान अपनी पावन धरती के प्रति श्रद्धा भाव प्रकट करते हुए उसकी रक्षा के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर करने का संकल्प करती है। कविता आत्मबलिदान की भावना से ओतप्रोत है जिसमें देश के प्रति गहरे अनुराग का सुंदर चित्रण किया गया है।

कवयित्री मातृभूमि के चरणों में शीघ्रातिशीघ्र पहुँच जाना चाहती है। इस कविता के माध्यम से वह पाठकों को संदेश देना चाहती है कि उन्होंने जिस पावन धरती पर जन्म लिया है, जहाँ उनका पालन-पोषण हुआ है उन्हें उस धरती के दुख-दर्द मिटाने के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर करने को उद्यत रहना चाहिए।

नया रास्ता – (सुषमा अग्रवाल)

प्रश्न 11. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“माँ को लगा, शायद अमित सरिता के रिश्ते को तैयार नहीं है। इसलिए वह बोली”, “बेटे, व्यवहार का तो किसी का भी पता नहीं है। न सरिता के बारे में ही कुछ कहा जा सकता है और न ही मीनू के बारे में व्यवहार का तो साथ रहने पर ही पता चलता है।”

(i) माँ को कैसे पता चलता है कि अमित सरिता के रिश्ते के लिए तैयार नहीं हैं ? 

(ii) अमित के पिता मायाराम जी सरिता के रिश्ते को क्यों नहीं स्वीकार करना चाहते हैं ? 

(iii) अमित और सरिता का रिश्ता तय होने के लिए माँ किसको और क्यों उकसाती है ? माँ की ऐसी धारणा से उनके स्वभाव के बारे में क्या पता चलता है ? समझाकर लिखिये। 

(iv) शादी के विषय में समाज की क्या परम्परा है ? आप इससे कहाँ तक सहमत हैं ? स्पष्ट कीजिये। 

उत्तर :

(i) अमित की माँ मायाराम जी की बेटी सरिता से अपने बेटे का विवाह कराना चाहती थी, इसीलिए उसने उसके फ़ोटो को देखकर उसके रंग-रूप की प्रशंसा करते हुए कहा कि उसके नाक-नक्श तीखे हैं। सरिता के बाल कटे हुए थे पर वह दयाराम की बेटी मीनू से ज्यादा अच्छी नहीं थी। तभी अमित ने अपनी माँ से पूछा कि सरिता बड़े घर की लड़की है, क्या वह तुम्हारे साथ रह सकेगी और हमारे घर के वातावरण में घुल सकेगी ? अमित की यह बात सुनकर उसकी माँ को लगा शायद अमित सरिता के रिश्ते को तैयार नहीं

(ii) अमित के पिता को लगा कि बड़े घर की लडकी सरिता ढेर सारा दहेज़ अपने साथ लाएगी और शायद परिवारवालों के साथ मिलकर नहीं रह पाएगी। साथ ही मायाराम जी दहेज़ विरोधी थे। वे नहीं चाहते थे कि एक बड़े घर की लड़की लेकर अपने बेटे को बेच डालें। उन्हें दयाराम जी की बेटी मीनू के बात करने का तौर-तरीका बहुत पसंद आया था। उन्हें पढ़ी-लिखी मीनू साधारण परिवार की होकर भी काफ़ी गुणवती लगी। इन्हीं कारणों से वे सरिता के रिश्ते को स्वीकार नहीं करना चाहते थे।

(iii) जब अमित ने अपनी माँ से पूछा कि क्या एक बड़े घर की लडकी सरिता हमारे घर के वातावरण में घुल-मिल सकेगी, तो माँ ने अपने ढंग से अमित को उकसाया। वह बोली कि मीनू और सरिता दोनों में से किसी के व्यवहार का पता नहीं है। व्यवहार का पता तो साथ रहकर ही चलता है। वास्तव में माँ ने धन के सपने देखने शुरू कर दिए थे। इसलिए उसने अपनी बातों के सामने किसी की एक न चलने दी। माँ की ऐसी धारणा को देखकर सरलता से यह अनुमान लगाया जा सकता है कि माँ दहेज़ की लोभी थी तथा वह हर कीमत पर सरिता से अपने बेटे का रिश्ता करवाना चाहती है।

(iv) हमारे समाज में विवाह के संबंध में प्राचीन काल से ही यह परंपरा प्रचलित है कि वर पक्ष के माता-पिता अपने पुत्र के लिए लड़की देखते हैं। पूरा परिवार लड़की देखने जाता है और सब पहलुओं पर विचार करके कुछ निर्णय लेता है। वर एवं वधू पक्ष में शादी के आयोजन तथा लेन-देन आदि पर भी विचार-विमर्श किया जाता है। कन्या पक्ष विवाह में अपनी हैसियत के मुताबिक खर्च करने का प्रस्ताव रखता है। इन बातों के उपरांत ही शादी निश्चित होती है।

मैं इस व्यवस्था से बहुत सहमत नहीं हूँ, क्योंकि इसमें वर तथा वधू की इच्छाओं का बहुत कम ध्यान रखा जाता है दूसरे दहेज़ और धन का लालच देकर वर पक्ष को फुसलाया जा सकता है। अधिकांश लोग दहेज़ के लोभी होते हैं वे लड़की के रंग-रूप एवं गुणों की अपेक्षा दहेज़ को प्राथमिकता देते हैं। मेरे विचार में लड़की का चयन उसके गुणों के आधार पर किया जाना चाहिए इसीलिए आजकल शिक्षित युवक-युवतियाँ इन परंपराओं को न मानकर प्रेम-विवाह कर लेते हैं।

प्रश्न 12. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“मीनू ने अमित के कमरे में प्रवेश किया, तो देखा कि अमित अपने पलंग पर लेटा हुआ है। मीनू को देखकर उन्होंने उसे प्रेमपूर्वक बैठाया। उसे देखकर अमित के मुरझाये चेहरे पर भी खुशी की लहर दौड़ गई।”

(i) मीनू अमित को देखने कहाँ गई थी ? जाते समय वह मन में क्या सोच रही थी ? 

(ii) कमरे में प्रवेश करते ही उसने क्या देखा ? अमित की माँ ने मीनू से क्या पूछा ? उसने क्या उत्तर दिया ? 

(iii) मीनू के वकालत पास करने पर अमित की माँ को विशेष खुशी क्यों हो रही थी ? क्या उन्हें अपनी गलती का अहसास हो गया था ? तर्कपूर्ण उत्तर दीजिए। 

(iv) मीनू के हृदय में बचपन से ही किसके प्रति दया की भावना थी ? वह उनकी किस प्रकार सहायता करने का निश्चय कर रही है ? 

उत्तर :

(i) मीनू अमित को देखने अस्पताल में गई थी। जाते समय उसके मन में अंतद्वंद्व चल रहा था कि क्या उसका अस्पताल जाना उचित होगा या नहीं कई बार उसके पाँव वापस मुड़े। वह फ़ैसला नहीं कर पा रही थी। फिर भी उसके कदम अस्पताल की ओर बढ़ते चले गए।

(ii) अस्पताल के कमरे में प्रवेश करते ही मीनू ने देखा कि अमित अपने पलंग पर लेटा हुआ है और अपनी माँ से बातें कर रहा है। मीनू की माँ ने उससे पूछा कि क्या उसकी वकालत पूरी हो गई है ? मीनू ने अत्यंत विनम्रता एवं सम्मान के साथ हाँ कहा और बताया उसने प्रथम श्रेणी में वकालत पास कर ली है और मेरठ में प्रैक्टिस भी शुरू कर दी है।

(iii) मीनू के वकालत पास करने का समाचार सुनकर अमित की माँ को विशेष खुशी हुई, क्योंकि संभवत: वह मन ही मन पुत्रवधू के रूप में मीनू को चाहने लगी थी और मीनू से अपने बेटे का विवाह संबंध जोड़ने पर उसे पश्चाताप भी हो रहा था। वह जानती थी कि अमित सरिता से अधिक मीनू को चाहता है, इसलिए वह अपने निर्णय पर पश्चाताप कर रही होगी।

(iv) मीनू के हृदय में बचपन से ही अपंगों के प्रति दया की भावना थी। मीनू मन ही मन निश्चय कर रही थी कि वह अपने विवाह के फालतू खर्च में से कुछ रुपये बचाकर राजो के चचेरे भाई मनोहर की सहायता करेगी। उसने निश्चय किया कि वह अपने घर के सामने उसे एक पान की दुकान खुलवा देगी और पाँच हजार खर्च करेगी। समय आने पर उसने उसे पान की दुकान खुलवा दी और उसकी जिंदगी सुधार दी।

 

प्रश्न 13.  निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“अमित का नाम सुनते ही दरवाज़े की ओर पीठ किए बैठी मीनू ने मुड़कर देखा तो वह आश्चर्यचकित रह गई। मीनू जब भी अमित को देखती, उसके मन में अजीब सी घृणा उत्पन्न हो जाती। अमित व उसके सभी मित्र वहाँ आ चुके थे परन्तु मीनू अभी भी सोच में डूबी हुई थी।”

(i) मीनू इस समय कहाँ थी ? वहाँ अमित से उसकी कैसे मुलाकात हो गई ? 

(ii) मीनू और अमित के बीच क्या सम्बन्ध था ? वह उससे घृणा क्यों करती थी? 

(iii) उसे वहाँ किस सच्चाई का पता चला ? उन बातों का उसपर क्या प्रभाव पड़ा? 

(iv) “मीनू परिस्थितियों से हार मानने वाली कोई साधारण नारी नहीं थी” – स्पष्ट कीजिए कि उसने अपने जीवन को कैसे नई दिशा दी ? 

उत्तर :

(i) मीनू मेरठ में वकालत की पढ़ाई कर रही थी। वह अपनी सहेली नीलिमा के घर पर थी जहाँ वह उसके नवजात शिशु के नामकरण के दिन शिशु के लिए उपहार लेकर पहुंची थी। नीलिमा के पति सुरेंद्र अमित के मित्र थे। मीन और नीलिमा बैठे बातें कर रही थीं कि तभी अमित भी उसी कार्यक्रम में आ गया और इस प्रकार मीन और अमित की मुलाकात हो गई।

(ii) अमित अपने माता-पिता के साथ अपने विवाह के लिए मीनू को देखने उसके घर गया था। परंतु यह रिश्ता नहीं हो सका था, क्योंकि तभी एक धनाढ्य व्यक्ति दयाराम अपनी बेटी का रिश्ता लेकर अमित के घर पहुँचा। उसने दहेज़ देने का लालच भी दिया। मीनू अमित से घृणा करती थी, क्योंकि पढ़ी-लिखी और कुरूप न होने पर भी अमित और उसके परिवार ने उसका रिश्ता अस्वीकार कर दिया जिसके कारण उसके हृदय में हीन भावना घर कर गई कि शायद वह विवाह के योग्य ही नहीं है।

(iii) मीनू को वहाँ अमित के बारे में एक सच्चाई का पता चला कि मेरठ में ही किसी बहुत बड़े घर में उसका रिश्ता तय हुआ था, परंतु शादी से एक महीना पहले लड़की वालों ने कुछ ऐसी तीखी बात कह दी कि रिश्ता तोड़ना पड़ा। यह रिश्ता दयाराम की बेटी सरिता से संबंधित था। नीलिमा से मीनू को यह भी पता चला कि दयाराम जी अपनी बेटी को एक फ्लैट देना चाहते थे जिससे कि वह सास-ससुर से अलग रह सके, परंतु अमित उस लड़की से शादी करने का इच्छुक नहीं था।

नीलिमा को यह बात ज्ञात नहीं थी कि अमित ने मीरापुर में कोई लड़की देखी थी जो उसे बेहद पसंद थी पर उसके माता-पिता की ग़लती से वह रिश्ता नहीं हो पाया था। वह लड़की मीन ही थी। जब नीलिमा ने बताया कि अमित आज भी उस लड़की (मीन) से शादी करना चाहते हैं तो मीनू को बुरा नहीं लग रहा था। आज ये सब बातें सुनकर वह मन-ही-मन अमित से घृणा नहीं कर रही थी।

(iv) मीनू परिस्थितियों से हार मानने वाली कोई साधारण नारी नहीं थी। जब उसे वर पक्ष द्वारा कई बार अस्वीकार कर दिया गया तथा थोड़े समय के लिए उसमें निराशा व्याप्त हो गई, फिर भी उसने हार नहीं मानी। उसने निश्चय किया कि वह विवाह नहीं करेगी। उसने अपने पिता जी से अपनी छोटी बहन आशा की शादी करने को कह दिया। जब उसके पिता ने यह कहा कि बड़ी बहन की अपेक्षा छोटी बहन का विवाह करने पर समाज क्या कहेगा, तो उसने उनसे समाज की चिंता न करने को कहा। मीन ने अपने पैरों पर खड़ा होने का दृढ़-संकल्प किया तथा वकालत की पढ़ाई करके प्रैक्टिस करने का संकल्प दोहराया और सचमुच उसके इस संकल्प ने उसके जीवन को नई दिशा दी।

एकांकी संचय

प्रश्न 14.  निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :”दहेज़ देना तो दूर, बारात की खातिर भी ठीक से नहीं की गई। मेरे नाम पर जो धब्बा लगा, मेरी शान में जो ठेस पहुँची, भरी बिरादरी में जो हँसी हुई, उस करारी चोट का घाव आज भी हरा है। जाओ, कह देना अपनी माँ से कि अगर बेटी को विदा कराना चाहती है तो पहले उस घाव के लिए मरहम भेजे।”

[बहू की विदा – विनोद रस्तोगी]

(i) प्रस्तुत कथन किसने, किससे कहा ? सन्दर्भ सहित उत्तर लिखिए। 

(ii) ‘मरहम’ का क्या अर्थ है ? यहाँ मरहम से क्या तात्पर्य है ? स्पष्ट कीजिए। 

(iii) वक्ता के चरित्र की विशेषताएँ लिखिए। 

(iv) प्रस्तुत एकांकी में किस समस्या को उठाया गया है ? उस समस्या को दूर करने के लिए क्या-क्या कदम उठाए जा रहे हैं ? अपने विचार दीजिए।

(i) प्रस्तुत कथन जीवनलाल ने कमला के भाई प्रमोद से तब कहा जब वह अपनी बहन को उसके पहले सावन के लिए विदा कराने आया था। जीवनलाल ने कमला को विदा करने से साफ़ इंकार करते हुए कहा कि कमला के विवाह में पूरा दहेज़ नहीं दिया गया और बरात की खातिर भी ठीक से नहीं की गई। यदि विदा कराना ही है, तो मेरी प्रतिष्ठा को जो ठेस पहुँची है उसकी भरपाई के लिए दहेज़ के रूप में धन भेजें।

(ii) ‘मरहम’ का शाब्दिक अर्थ तो किसी घाव पर लगाया जाने वाला गाढ़ा और चिकना लेप है, परंतु यहाँ वह प्रतीकात्मक अर्थ के रूप में प्रयुक्त हुआ है। जीवनलाल के अनुसार उसके बेटे के विवाह में कम दहेज़ देकर और बरात की ठीक से खातिर न होने के कारण बिरादरी में उसकी हँसी हुई तथा उसकी शान को ठेस पहुँची जिसका घाव आज भी विद्यमान है। उस घाव का इलाज केवल धन रूपी मरहम से हो सकता है। जीवनलाल ने कमला के भाई प्रमोद से कहा कि यदि वह अपनी बहन को विदा कराना चाहता है, तो धन लेकर आए।

(iii) जीवनलाल एक धनी व्यापारी है परंतु धन का अत्यंत लोभी भी है। अपने बेटे के विवाह में कम दहेज़ मिलने के कारण वह खफ़ा है और इसी कारण अपनी पुत्रवधू को उसके पहले सावन पर उसके भाई के साथ विदा नहीं करता। इसी आक्रोश के कारण वह प्रमोद को अत्यंत जली-कटी सुनाता है। स्वयं उसकी पत्नी के अनुसार उन्हें इंसान से ज़्यादा पैसा प्यारा है। जब जीवनलाल का बेटा भी अपनी बहन को उसकी ससुराल से विदा कराकर नहीं ला सका क्योंकि उसके ससुरालवालों ने भी दहेज़ कम दिए जाने की शिकायत की थी, परंतु उसकी आँखें खुल गईं और उसका हृदय परिवर्तित हो गया और उसने अपनी पुत्रवधू को विदा करने का निश्चय कर लिया।

(iv) प्रस्तुत एकांकी में दहेज़ की समस्या को उजागर किया गया है, जो समाज के लिए भयानक अभिशाप है। यद्यपि इस समस्या के उन्मूलन के लिए हर दिशा से प्रयास हो रहे हैं, सरकार द्वारा कानून बनाकर भी इस पर रोक का प्रावधान किया गया है तथापि इस पर काबू नहीं पाया जा सका। दहेज़ विरोधी कानून के अंतर्गत दहेज़ लेने और देने को अपराध घोषित किया गया है, फिर भी चोरी-छिपे यह समस्या बढ़ती जा रही है। हाँ, आजकल के शिक्षित युवक-युवतियाँ प्रेम-विवाह करके दहेज़ लेने-देने को अस्वीकार कर रहे हैं। यह अच्छा संकेत है। मेरे विचार से सरकार को दहेज़ विरोधी कानून को अत्यंत कड़ा करके उस पर सख्ती से अम्ल करवाना चाहिए।

 

प्रश्न  15. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“प्राण जाएँ पर वचन न जाएँ ” – यह हमारे जीवन का मूलमंत्र है। जो तीर तरकश से निकलकर कमान से छूट गया, उसे बीच में लौटाया नहीं जा सकता। मेरी प्रतिज्ञा कठिनाई से पूरी होगी, यह मैं जानता हूँ और इस बात की हाल के युद्ध में पुष्टि भी हो चुकी है कि हाड़ा जाति वीरता में हम लोगों से किसी प्रकार हीन नहीं है।”

[मातृभूमि का मान – हरिकृष्ण ‘प्रेमी’]

(i) उपरोक्त कथन के वक्ता और श्रोता का संक्षिप्त परिचय दीजिए। 

(ii) वक्ता ने क्या प्रतिज्ञा ली थी? कारण सहित लिखिए। 

(iii) हाड़ा वंश के राजा कौन थे ? हाड़ा लोगों की क्या विशेषताएँ थीं? उनपर प्रकाश डालिए। 

(iv) ‘प्राण जाएँ पर वचन न जाएँ’ – इस कहावत का क्या अर्थ है ? एकांकी के सन्दर्भ में समझाइए। 

उत्तर :

(i) यह उपर्युक्त कथन मेवाड़ के महाराणा लाखा का है। जो उन्होंने अपने सेनापति अभयसिंह से कहा है। महाराणा लाखा को मुट्ठी भर हाड़ाओं द्वारा नीमरा के मैदान में बूंदी के राव हेमू से पराजित होकर भागना पड़ा था जिसके कारण उसके आत्म-गौरव को बहुत ठेस पहुंची थी। अब उन्होंने प्रतिज्ञा की है कि वे जब तक बूंदी के दुर्ग में सेना सहित प्रवेश नहीं कर लेंगे अन्न-जल ग्रहण नहीं करेंगे। महाराणा का सेनापति अभय सिंह अत्यंत बुद्धिमान एवं चतुर व्यक्ति है। वह पूरा प्रयास करता है कि महाराणा ऐसी प्रतिज्ञा न करें।

(ii) वक्ता (महाराणा लाखा) को नीमरा के मैदान में बूंदी के राव हेमू से पराजित होकर भागना पड़ा था। मुट्ठी भर हाडाओं से मिली हार पर उसकी आत्मा उसे धिक्कार रही थी। महाराणा अपने आत्म-सम्मान एवं प्रतिष्ठा पर लगे इस कलंक को धोना चाहता था। इसलिए उसने प्रतिज्ञा की कि जब तक वह अपनी सेना के साथ बूंदी के किले में प्रवेश नहीं कर लेगा, अन्न-जल ग्रहण नहीं करेगा।

(iii) हाड़ा वंश के राजा राव हेमू थे। हाड़ा लोग अत्यंत वीर थे। वे युद्ध करने में यम से भी नहीं डरते थे। वे वीरता में मेवाड़ की सेना से किसी प्रकार कम नहीं थे। यद्यपि शक्ति और साधनों में वे मेवाड़ के उन्नत राज्य से छोटे थे, परंतु ऐसा होने पर भी उनकी शक्ति एवं सामर्थ्य को किसी भी प्रकार कम नहीं आँका जा सकता। हाड़ा लोग अपनी मातृभूमि का अपमान कभी नहीं सह सकते थे। बूंदी के हाड़ा सुख-दुख में मेवाड़ के साथ रहते थे।

(iv) ‘प्राण जाएँ पर वचन न जाएँ’ कहावत का अर्थ है कि अपने वचन या अपनी प्रतिज्ञा की रक्षा में दृढ रहना तथा उसे पूरा करने के लिए अपने प्राणों की भी परवाह न करना है। ‘मातृभूमि का मान’ शीर्षक एकांकी में मेवाड़ के शासक महाराणा लाखा ने भी इसी प्रकार की एक प्रतिज्ञा की थी जिसके अनुसार वे जब तक बूंदी के दुर्ग में अपनी सेना के साथ प्रवेश नहीं कर लेंगे तब तक अन्न-जल ग्रहण नहीं करेगे। अपनी इस प्रतिज्ञा को पूरी करने के लिए वे अपने प्राणों की भी परवाह नहीं करेंगे।

 

प्रश्न 16. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिन्दी में लिखिए :

“मेरी आकाँक्षा है कि सब डालियाँ साथ-साथ फले-फूलें, जीवन की सुखद, शीतल वायु के स्पर्श से झूमें और सरसराएँ। विटप से अलग होने वाली डाली की कल्पना ही मुझे सिहरा देती है।”

[सूखी डाली – उपेन्द्र नाथ ‘अश्क’]

(i) उपर्युक्त कथन कौन, किससे किस संदर्भ में कह रहा है ? 

(ii) सब डालियाँ साथ-साथ फलने-फूलने से क्या आशय है ? ‘डालियाँ’ शब्द किसके लिए प्रयुक्त हुआ है ? 

(iii) किसकी आकांक्षा है कि सब खुशहाल रहें और क्यों ? इस एकांकी से आपको क्या शिक्षा मिलती है ? 

(iv) प्रस्तुत कथन से वक्ता की किस चारित्रिक विशेषता का पता चलता है ? अपने विचार भी प्रस्तुत कीजिये। 

उत्तर :

(i) उपर्युक्त कथन दादा कर्मचंद अपनी पोती इंदु से तब कह रहा है जब उसे पता चला कि छोटी बहू बेला का मन परिवार में नहीं लग रहा है। दादा कर्मचंद ने परिवार के सभी सदस्यों को एक विशेष अभिप्राय से बुलाया है। वे चाहते हैं कि कोई इस कुटुंब से अलग न हो। वे इंदु और मँझली बहू से कहते हैं कि उन्हें बेला की कभी हँसी नहीं उड़ानी चाहिए। उससे कभी लड़ना-झगड़ना नहीं चाहिए बल्कि उसका सम्मान करना चाहिए।

(ii) सब डालियाँ साथ-साथ फलने-फूलने का आशय है – परिवार के सभी सदस्य प्रेम और स्नेह से मिल-जुल कर एक साथ रहें, किसी से लड़े-झगड़े नहीं बल्कि मेल-जोल से रहें और एक-दूसरे का आदर करें। ‘डालियाँ’ शब्द परिवार के सदस्यों के लिए प्रयुक्त हुआ है। यदि परिवार में सब लोग मिल-जुल कर रहेंगे, एक-दूसरे का सम्मान करेंगे तो परिवार का कोई सदस्य कभी परिवार से अलग होने की नहीं सोचेगा।

(iii) दादा कर्मचंद की इच्छा है कि उसके परिवार के सभी सदस्य सुख-शांति, मेल-जोल तथा स्नेह-सम्मान से रहें। सभी हर प्रकार से खुशहाल हों और उन्हें परिवार के किसी सदस्य से किसी प्रकार की कोई शिकायत न हो। इस एकांकी से शिक्षा मिलती है कि संयुक्त परिवार में सभी सदस्यों को पारस्परिक स्नेह, सम्मान तथा आपसी मेलजोल से रहना चाहिए। एक-दूसरे की भावनाओं का सम्मान करना चाहिए तथा कभी ऐसी स्थिति नहीं आने देनी चाहिए जिससे संयुक्त परिवार के बिखरने का खतरा हो । संयुक्त परिवार एक महान वृक्ष की तरह होता है जिसकी डालियाँ कभी अलग होने की बात नहीं सोचतीं।

(iv) उपर्युक्त कथन ‘सूखी डाली’ शीर्षक एकांकी के प्रमुख पात्र दादा कर्मचंद का है। वे परिवार के मुखिया हैं। उन्होंने बड़ी सूझ-बूझ एवं बुद्धिमानी से अपने परिवार को एक वट वृक्ष की भाँति एकता के सूत्र में बाँध रखा है, जब उन्हें पता चलता है कि छोटी बहू बेला के कारण परिवार में अशांति का वातावरण होने लगा है, तो उन्होंने घर के सभी सदस्यों को बुलाकर समझाया और कहा कि बेला को सभी के द्वारा उचित आदर-सम्मान मिलना चाहिए। दादा जी कभी नहीं चाहते कि कोई परिवार से अलग हो जाए। यही नहीं वे चेतावनी भी देते हैं कि यदि मैंने सुन लिया कि किसी ने बेला की हँसी उड़ाई है, किसी ने बहू का निरादर किया है तो इस घर से मेरा नाता सदा के लिए टूट जाएगा। दादा जी की इस बात का गहरा प्रभाव पड़ा और परिवार टूटने से बच गया।

ENGLISH LITERATURE CLASS 10TH QUESTION PAPER 2017 (ICSE)

 ENGLISH LITERATURE 

ENGLISH Paper – 2 

SECTION A – DRAMA 

The Merchant of Venice : Shakespeare 

Q. 1. Read the extract given below and answer the Questions that follow: 

Why, look you, how you storm! 

I would be friends with you and have your love, 

Forget the shames that you have stain’d me with, 

Supply your present wants, and take no doit  

Of usance for my moneys, and you’ll not hear me: 

This is kind I offer.  

(i) Where does this scene take place? Who is the speaker? To whom is he talking? 

(ii) What are the ‘shames’ which the speaker says have stained him?

(iii) What are the ‘present wants’? Who is in need of the ‘present wants’? Why? 

(iv) Explain “This is kind I offer.” What does the speaker propose to do immediately after this? 

 

(v) What do you think of Antonio and of Shylock with regard to the signing of  the bond? 

 

 

Q. 2. Read the extract given below and answer the Questions that follow: 

PORTIA : To these injunctions everyone doth swear 

 That comes to hazard for my worthless self. 

ARRAGON : And so have I address’d me. Fortune now 

To my heart’s hope! – Gold, silver and base lead. 

(i) Who had tried his luck in trying to choose the correct casket before the prince  of Arragon? Which casket had that suitor chosen? What did he find inside the  casket? 

(ii) What are the three things Arragon was obliged by oath to obey? 

(iii) What was the inscription on the golden casket? How do the actions of the  martlet illustrate this inscription? 

(iv) Which casket does Arragon finally choose? Whose portrait does he find  inside? Which casket actually contains Portia’s portrait? 

(v) Who enters soon after? What does he say about the young Venetian who has  just arrived? What gifts has the Venetian brought with him? 

Loyalties : John Galsworthy 

Q. 3. Read the extract given below and answer the Questions that follow: 

DE LEVIS : Social Blackmail? H’m ! 

CANYNGE : Not at all – simple warning. If you consider it necessary in  your interests to start this scandal – no matter how, we shall consider it necessary in ours to dissociate ourselves  completely from one who so recklessly disregards the unwritten code. 

 

 

 

(i) Where are the speakers at present? What is referred to as Social Blackmail? 

(ii) Who is Canynge? What scandal is being referred to? Why will it be a scandal? 

(iii) Which race does De Levis mention later? What is his opinion about society? 

(iv) What does Canynge do soon after and what does he find? What was his  reaction? What does the discovery prove? 

(v) What is De Levis going through at this point of time? What light does it throw  upon his character? What change do we see in his character later in the play?  Give a reason to justify your answer? 

 

Q. 4. Read the extract given below and answer the Questions that follow: 

DE LEVIS. Confront me with Dancy and give me fair play. 

WINSOR. [Aside to CANYNGE] Is it fair to Dancy not to let him know? CANYNGE. Our duty is to the Club now, Winsor. We must have this  cleared up. [COLFORD comes in, followed by BORRING  and DANCY.] 

 

ST ERTH. Captain Dancy, a serious accusation has been made against  you by this gentleman in the presence of several members of the Club. 

 

DANCY. What is it? 

ST ERTH. That you robbed him of that money at Winsor’s. 

DANCY. [Hard and tense] Indeed! On what grounds is he good enough  to say that? 

(i) How does De Levis respond to Dancy’s last Q.  in the extract? 

(ii) How did Dancy wish to settle the matter? What was St Erth’s suggestion? 

(iii) Why did Dancy’s friends wish him to take legal action against De Levis? What  reasons did Dancy give for not wanting to do so? 

 

(iv) When Mabel Dancy later requests De Levis to withdraw the charge, how does  he respond? What declaration does Dancy wish De Levis to sign? 

(v) What information does Gilman give to Twisden? Why did Twisden decide  to withdraw from the case? 

SECTION B – POETRY 

A Collection of Poems 

Q. 5. Read the extract given below and answer the Questions that follow: 

‘Tell me not in mournful numbers, 

Life is but an empty dream! 

For the soul is dead that slumbers, 

And things are not what they seem.’ 

(A Psalm of Life – H. W. Longfellow) 

(i) Explain- ‘Tell me not in mournful numbers, Life is but an empty dream!’ What  should not be considered the goal of life? 

(ii) What is the beating of the heart compared to? How is the heart described?  What does the beating of the heart remind us of? 

(iii) What does the poet mean when he compares the world to a battle field? What  should our role be in this battle? 

(iv) How should we view the past and the future? What advice does the poet give  in this context? 

(v) What do we learn from the lives of great men? What is the final message of  the poem? Give one reason why the poem appeals to you. 

 

Q.  6. Read the extract given below and answer the Questions that follow: 

Where the mind is without fear and the head is held high 

Where knowledge is free 

Where the world has not been broken up into fragments  

By narrow domestic walls. 

(Where the Mind is Without Fear: Rabindranath Tagore)

(i) To whom is the poet praying? Whose mind is the poet referring to in the  beginning of the poem? Why? 

(ii) In which situation is the head held high? What does he mean by ‘knowledge  is free’? What are ‘narrow domestic walls’? 

(iii) What does the poet mean by ‘tireless striving’? What does ‘clear stream’ refer  to? Explain. 

(iv) What is meant by ‘dead habit’? What is ‘dead habit’ compared to and why? 

(v) What does the poet wish for at the end of the poem? What does the poem tell  the readers about the poet? Give a reason to justify your answer. 

SECTION C – PROSE 

Collection of Short Stories 

Q. 7. Read the extract given below and answer the Questions that follow: 

“He was not accustomed to facing the entire class and speaking out aloud. He  knew that he did not have a flair for making speeches. However, he had  worked hard on his assignment and had written it from the depth of his heart.”  

(India’s Heroes- Anonymous) 

(i) Who was ‘he’? What evidence is there that he was not used to facing the entire  class? (ii) What was the assignment? How was ‘his’ assignment different from the  others? (iii) Who was the first person to feature in ‘his’ assignment? What did ‘he’ say  about him? (iv) Who was the General Manager of the Taj Hotel? What role did he play? (v) What, according to this speaker, is the only true religion in the world? What  human qualities have been highlighted through ‘his’ speech? 

 

Q. 8. Describe the first meeting and the last meeting between the Kabuliwala and Mini. What realization dawns upon the Kabuliwala after the last meeting with Mini. 

Animal Farm : George Orwell 

Q. 9. Read the extract given below and answer the Questions that follow: 

All that year the animals worked like slaves. But they were happy in their  work, they grudged no effort or sacrifice, well aware that everything that they  did was for the benefit of themselves and those of their kind who would come  after them, and not for a pack of idle thieving human beings. 

Throughout the spring and summer they worked a sixty-hour week, and in  August……………. 

(i) What did Napoleon announce in August? 

(ii) How much time had elapsed since the constitution of the Animal Farm? As  summer wore on, what unforeseen shortages began to be felt? 

(iii) What new policy did Napoleon make? The new policy brought a vagu Animal farm and the  outside world? Describe him. 

 

(v) What roused the pride of the animals and made them reconcile to the new arrangement? In the meanwhile, what sudden decision was taken by the pigs?  What do we learn about Napoleon at this juncture? 

Q.  10. Boxer lives his life in patient and unquestioning service. How far is this statement  true? Throw light on Boxer’s character.

To Sir, With Love : E.R. Braithwaite 

Q.  11. Read the extract given below and answer the Questions that follow

“What’s your name?” he asked. 

“Braithwaite,” I replied, “Ricardo Braithwaite.” 

“I’m Pinkus and this is Mama Pinkus.” The introduction was effected with a  filial devotion which was good to see.  

“How d’you do, Mama Pinkus.” 

“I think I know some place for you.” He went to the little noticeboard and  removed a small card on which was written a short advertisement of a room  to let near-by. 

(i) Why was Braithwaite looking for a new place to stay? Why was he impressed  by the place that was on rent? 

(ii) What reception did he get when he reached the address that had been advertised? Whom did the house belong to? 

 

(iii) Why did Mrs. Pegg come to see Braithwaite? What reply did Braithwaite  give to her?

(iv) What changes occurred in Pamela’s personality after the August holiday? 

 

(v) What comment did Potter make when Braithwaite hurt himself? What did he  mean by that comment? How did Pamela react to Potter’s remark? 

Q.  12. Give an account of the trip to The Victoria and Albert Museum that was planned by Braithwaite for his class. 

ENGLISH LANGUAGE CLASS 10TH QUESTION PAPER 2017 (ICSE)

ENGLISH LANGUAGE 

ENGLISH Paper – 1  

Q.1 (Do not spend more than 35 minutes on this question.) 

Write a composition (350 – 400 words) on any one of the following: 

(a) Write an original short story that begins with the words: “It was raining hard that night. In my hurry to get into the house, I didn’t notice the black car parked across the road. I realized something was wrong when……….” 

(b) “School days are the happiest days of our lives.” Express your views either for or against this statement. 

(c) Narrate an incident from your own experience when you helped a friend who was in trouble. Explain what happened. What did you do to make the situation better? 

(d) There has been heavy rain in your city/town. You went to school but found that it was closed because of the rain. Describe the sights and sounds near the school and narrate how you finally reached home and spent the rest of the day.

(e) Study the picture given below. Write a story or a description or an account of what it suggests to you. Your composition may be about the subject of the picture or you may take suggestions from it; however, there must be a clear connection between the picture and your composition. 

Q.2 (Do not spend more than 20 minutes on this question.) 

Select any one of the following: 

(a) A number of loose electric wires are hanging from a lamp post near the main gate of your school. Write a letter to the Municipal Commissioner explaining the problem, the danger it poses and suggest a quick solution. 

(b) You were a part of an organizing committee for an inter-school event which was very successful. You and the other committee members were congratulated and praised at the school assembly by the Principal. Write a letter to your grandmother telling her about the event and your feelings at being recognized and praised in front of the school.

 

Q.3 Read the following passage carefully and answer the questions that follow: Every Monday, on his way back from work, Bipin Chowdhury would drop in at New Market to buy books. He had to buy at least five at a time to last him through the week. He lived alone, was not a good mixer, had few friends, and didn’t like spending time in idle chat. Those who called in the evening got through their business quickly and left. Those who didn’t show signs of leaving would be told around eight o’clock by Bipin Babu that he was under doctor’s orders to have dinner at eight-thirty. After dinner he would rest for half an hour and then turn in with a book. This was a routine which had persisted unbroken for years. 

Today, Bipin Babu had the feeling that someone was observing him from close 10 quarters. He turned round and found himself looking at a round-faced, meek looking man who now broke into a smile. 

‘I don’t suppose you recognize me.’ 

Bipin Babu felt ill at ease. It didn’t seem that he had ever encountered this man before. The face seemed quite unfamiliar. 

‘Have we met before?’ asked Bipin Babu. 

The man looked greatly surprised. ‘We met every day for a whole week. I arranged for a car to take you to the Hudroo falls. My name is Parimal Ghose.’ 

‘Ranchi?’ 

Now Bipin Babu realized this man was making a mistake. Bipin Babu had 20 never been to Ranchi. He smiled and said, ‘Do you know who I am?’ 

The man raised his eyebrows, and said, ‘Who doesn’t know Bipin Chowdhury?’ 

Bipin Babu turned towards the bookshelves and said, ‘You’re making a mistake. I’ve never been to Ranchi.’ 

The man now laughed aloud. 

What are you saying, Mr. Chowdhury? You had a fall in Hudroo and cut your right knee. I brought you iodine. I had fixed up a car for you to go to Netarhat the next day, but you couldn’t because of the pain in the knee. Can’t you recall anything? Someone else you know was also in Ranchi at that time. Mr. Dinesh Mukherjee. You stayed in a bungalow. You said you didn’t like hotel food. I’ll tell you more: you always carried a bag with your books in it on your sightseeing trips. Am I right or not?’ 

Bipin Babu spoke quietly, his eyes still on the books. 

‘Which month in Nineteen fifty- eight are you talking about?’ 

The man said, ‘October.’ 

‘No, sir,’ said Bipin Babu. ‘I spent October Nineteen fifty- eight with a friend in Kanpur. You’re making a mistake. Good day.’ 

But the man didn’t go, nor did he stop talking. 

‘Very strange. One evening I had tea with you on the veranda of your bungalow. You spoke about your family. You said you had no children, and that you had lost your wife a decade ago. 

When Bipin Babu had paid for the books and was leaving the shop, the man was still looking at him in utter disbelief. 

Bipin Babu’s car was safely parked in Bertram Street. He told the driver as he got into the car, ‘Just drive by the Ganga, will you, Sitaram.’ Driving up the Strand Road, Bipin Babu regretted having paid so much attention to the intruder. He had never been to Ranchi. He had an excellent memory. 

Unless he was losing his mind! 

(a) Give the meaning of the following words as used in the passage: 

One word answers or short phrases will be accepted. 

(i) persisted (line 9) 

(ii) decade (line 42) 

(iii) intruder (line 48) 

(b) Answer the following questions briefly in your own words. 

(i) How did Bipin Chowdhury find time to read five books a week?

(ii) How did he get rid of visitors who stayed late?

(iii) Which sentence tells you that Bipin Babu was uncomfortable? 

(iv) What strong argument did Bipin Babu give to prove that he was not in Ranchi at that time? 

(v) What does Bipin Babu regret?

(vi) What are Bipin Babu’s feelings at the end of the passage? 

(c) (i) What memories of the trip does Parimal Ghose evoke to prove that Bipin Babu was indeed in Ranchi? Answer in not more than 60 words. 

(ii) Give a title to your summary in 3(c)(i). Give a reason to justify your choice of the title. 

 

Q.4 (a) Fill in each of the numbered blanks with the correct form of the word given in brackets. Do not copy the passage, but write in correct serial order the word or phrase appropriate to the blank space. 

Example: 

Answer: (0) started 

My mother (0) __________ (start) school when she (1) __________ (be) six and (2) __________ (stop) the same term. She was unusual in the village as she had a father and brother who (3) __________ (encourage) her to go to school. She was the only girl in a class of boys and claims she was brighter than the boys. But every day she (4) __________ (will) leave behind her girl cousins (5) __________ (play) at home and she (6) __________ (envy) them. There (7) __________ (seem) to be no point in (8) __________ (go) to school just to end up doing housework. 

(b) Fill in each blank with an appropriate word: (i) She shouted angrily __________ the disobedient boy. 

(ii) I asked them to provide us ___________ a guide. 

(iii) The tree grew at a dangerous slant and had to be cut __________. 

(iv) My daughter believes __________ fairies. 

(v) He drew a beautiful diagram __________ the board. 

(vi) She battled her way __________ the crowd. 

(vii)We were asked to gather __________ the teacher. 

(viii) They had to climb __________ the steep pathway to reach the top. 

(c) Join the following sentences to make one complete sentence without using and, but or so

(i) This is the hospital. I was born here. 

(ii) The children have been sick for a week. They were unable to go to school. 

(iii) Mrs. Kumar has been a teacher for thirty years. She will now retire. 

(iv) We have had no respect for nature. Now we are suffering from the effects of global warming. 

(d) Re-write the following sentences according to the instructions given after each. Make other changes that may be necessary, but do not change the meaning of each sentence. 

(i) Not many people read for pleasure these days. 

(Begin: Few……………………………) 

(ii) Since her childhood Meera has been good in Mathematics. 

(End: ……………………………childhood.) 

(iii) “We have had no rain since January”, Ramu said. 

(Begin: Ramu said that they……………………………) 

(iv) It is dangerous as well as illegal to drive a motorcycle without a helmet. (Begin: It is not……………………………) 

(v) He had plenty of wealth but he was not happy. 

(Begin: In spite……………………………) 

(vi) He was so tired that he could not stand. 

(Use: too) 

(vii)Every one of them was an experienced mountaineer. 

(Begin: There was no……………………………) 

(viii) I have never seen a film as bad as this. 

(Begin: This is……………………………) 

MATHS CLASS 10TH QUESTION PAPER 2017 (ICSE)

MATHEMATICS 

SECTION A

 

Q. 1 (a) If b is the mean proportion between a and c, show that: 

 

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 1

(b) Solve the equation 4×2 – 5x – 3 = 0 and give your answer correct to two decimal places. 

(c) AB and CD are two parallel chords of a circle such that AB = 24 cm and CD = 10 cm. If the radius of the circle is 13 cm, find the distance between the two chords. 

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 2

Solution :

(a) Here, b is the mean proportion between a and c.

∴ b2 = ac

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 3

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 4

(b) Given equation is :

4x2 – 5x – 3 =0

By using quadratic formula, we obtain

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 5

(c) Here, O is the centre of the given circle of radius 13 cm. AB and CD are two parallel chords, such that AB = 24 cm and CD = lo cm.

Join OA and OC.

Since ON⊥AB and 0M ⊥CD.

∴ M, O and N are collinear and M, N are mid-points of CD and AB.

Now, in rt. ∠ed ∆ANO, we have

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 6

ON2 = 02 AN2

= 132– 122

= 169 – 144 = 25

ON= √25 = 5cm

Similarly, in it. ∠ed ∆CMO, we have

OM2 = OC2 – CM2

= 132 – 52

= 169 – 25 = 144

0M = √144= 12cm

Hence, distance between the two chords

NM = NO + OM

= 5 + 12

= 17 cm

Q. 2. (a) Evaluate without using trigonometric tables,  sin228° + sin262° + tan238° – cot252° + sec230°

(b) If A =  and A2 – 5B2 = 5C. Find matrix C where C is a 2 by 2 matrix. 

(c) Jaya borrowed ₹ 50000 for 2 years. The rates of interest for two successive years are 12% and 15% respectively. She repays ₹ 33000 at the end of the first year. Find the amount she must pay at the end of the second year to clear her debt. 

Solution :

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 7

(b) Here, A =

Now, A2 = AA

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 8

B2 = BB

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 9

Again, 5C = A2 – 5B2

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 10

(c) Principal = ; 50000

Time =1 year

Rate = 12%

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 11

Q. 3. (a) The catalogue price of a computer set is 42000. The shopkeeper gives a discount of 10% on the listed price. He further gives an off-season discount of 5% on the discounted price. However, sales tax at 8% is charged on the remaining price after the two successive discounts. Find: 

(i) the amount of sales tax a customer has to pay.

(ii) the total price to be paid by the customer for the computer set.

(b) P(1, – 2) is a point on the line segment A(3, – 6) and B(x, y) such that AP : PB is equal to 2 : 3. Find the coordinates of B. 

(c) The marks of 10 students of a class in an examination arranged in ascending order is as follows : 

13, 35, 43, 46, x, x + 4, 55, 61, 71, 80

If the median marks is 48, find the value of x. Hence, find the mode of the given data

Solution :

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 12

Hence, amount of sales tax is ₹ 2872.80 and total price to be paid by the customer for the computer set is ₹ 38782.80.

(b) Here, AP : PB = 2 : 3, therefore, P divides AB in the ratio 2 : 3

Thus, coordinates of P are: ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 13

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 14

Also, coordinates of P are P(1, – 2)

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 15

Hence, coordinates of B are B ( – 2, 4).

(c) Here, number of students are 10 i.e., even number of observations.

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 16

Thus, the observations are 13, 35, 43, 46, 46, 50, 55, 61, 71, 80.

Hence, the mode of the given data is 46.

Q.4. (a) What must be subtracted from 16x3 – 8x2 + 4x + 7 so that the resulting expression has 2x + 1 as a factor? 

(b) In the given figure ABCD is a rectangle. It consists of a circle and two semi-circles each of which are of radius 5 cm. Find the area of the shaded region. Give your answer correct to three significant figures.

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 17

(c) Solve the following inequation and represent the solution set on a number line. 

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 18

Solution:

(a) Let p(x) = 16x3 – 8x2 + 4x + 7 and g(x) = 2x + I

Put 2x + 1 = 0 ⇒ x = – 1/2

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 19

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 20

Hence, 1 is subtracted from p(x), so that g(x) is a factor of p(x).

(b) Here, radius of a circle and two semi-circles = 5 cm

Length of the rectangle = 5 + 10 + 5 = 20 cm

Breadth of the rectangle = 10 cm

Now, area of the shaded part = Area of rectangle – 2 × Area of circle

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 21

(c) Given inequation is :

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 22

Solution set on number line

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 23

SECTION B 

Attempt any four Q. s from this Section

Q. 5. (a) Given matrix B = . Find the matrix X if, X=B2 – 4B. 

Hence, solve for a and b given ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 24

(b) How much should a man invest in 50 shares selling at 60 to obtain an income of 450, if the rate of dividend declared is 10%. Also, find his yield percent, to the nearest whole number. 

(c) Sixteen cards are labelled as a, b, c … m, n, o, p. They are put in a box and shuffled. A boy is asked to draw a card from the box. What is the probability that the card drawn is : 

(i) a vowel

(ii) a consonant

(iii) none of the letters of the word median? 

Solution :

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 25

Market value of a share = ₹ 60

Face value of a share = ₹ 50

Rate of dividend = 10%

Total income = ₹ 450

If income is 5, then investment = ₹ 60

If income is 1, then investment = 60/5 = ₹ 12

If income is 450, then investment = ₹ 12 × 450

= ₹ 5400

Thus, total investment is ₹ 5480

∴ Yield percent =( 450/5400) × 100 = 8.33

= 8 (to the nearest whole number)

(c) Total number of cards = 16

(i) Number of vowels = 4 (a, e, i, o)

Probability = 4/16= 1/4

(ii) Numberofeonsonant = 16 – 4 = 12

Probability = 12/16 = 3/4

(iii) Probability (none of the letters of the word median) = 10/16 = 5/8

 

Q.6.(a) Using a ruler and a corrpass construct a triangle ABC in which AB = 7 cm, ∠CAB = 600 and AC = 5 cm. Construct the locus of : 

(i) points equidistant from AB and AC.

(ii) points equidistant from BA and BC.

Hence, construct a circle touching the three sides of the triangle internally.

(b) A conical tent is to accommodate 77 persons. Each person must have 16 n? of air to breathe. Given the radius of the tent as 7 m, find the height of the tent and also its curved surface area. 

(c) If  (7m+2n)/(7m−2n) =  5/3 , use properties of proportion to find :

(i) m : n

(ii) (m2+n2)/(m2−n2)

Solution :

(a) Steps of Construction :

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 26

1. Draw a line segment AB = 7 cm.

2. At A construct an angle of 600 such that AC = 5 cm.

3. Join BC to get ∆ABC.

4. Draw angle bisector of ∠BAC, which is the required locus of the points equidistant from AB and AC.

5. Draw angle bisector of ∠ABC, which is the required locus of the points equidistant from BA and BC.

6. Let the two angle bisectors intersect each other in I.

7. Through I, draw ID⊥AB. With I as centre and radius = ID draw a circle which touches all the sides of the ∆ABC internally.

Total number of persons accommodated = 77

Volume of air required for each person = 16 m3

Volume of the conical tent = 77 × 16

= 1232 m3

Radius of the tent = 7 m

Let h be the height of the conical tent

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 27

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 28

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 29

Using componendo and dividendo, we have

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 30

[Using componendo and dividendo]

 

Q. 7. (a) A page from a savings bank account passbook is given below: 

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 31

(i) Calculate the interest for the 6 months from January to June 2016, at 6% per annum.

(ii) If the account is closed on 1st July 2016, find the amount received by the account holder.

(b) Use a graph paper for this Q.  (Take 2 cm =1 unit on both x and y axis) 

(i) Plot the following points:

A(0, 4), B(2, 3), C(1, 1) and D(2, 0).

(ii) Reflect points B, C, D on the y-axis and write down their coordinates. Name the images as B’, C’, D’ respectively.

(iii) Join the points A, B, C, D, D’, C’,B’ and A in order, so as to form a closed figure. Write down the equation of the line of symmetry of the figure formed.

Solution :

(a) Minimum balance for the month Jan., 2016 = ₹ 5600

Minimum balance for the month Feb., 2016 = ₹ 4100

Minimum balance for the month Mar., 2016 = ₹ 4100

Minimum balance for the month Apr., 2016 = ₹ 2000

Minimum balance for the month May, 2016 = ₹  8500

Minimum balance for the month June, 2016 = ₹ 10000

Total = ₹ 34300

Principal = ₹ 34300

Rate = 6% p.a.

Time = 1/12 year

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 32

(b) (E) On graph ,

(ii) B’(- 2, 3), C’(- 1, 1), D’(- 2, 0)

(iii) Equation of the line of symmetry is x = O

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 33

Q.8. (a) Calculate the mean of the following distribution using step deviation method. 

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 34

(b) In the given figure PQ is a tangent to the circle at A. AB and AD are bisectors of ∠CAQ and ∠PAC. If ∠BAQ = 30° prove that :

(i) BD is a diameter of the circle.

(ii) ABC is an isosceles triangle.

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 35

(C) The printed price of an air conditioner is ₹ 45000/-. The wholesaler allows a discount of 10% to the shopkeeper. The shopkeeper sells the article to the customer at a discount of 5% of the marked price. Sales tax (under VAT) is charged at the rate of 12% at every stage. Find :

(i) VAT paid by the shopkeeper to the government.

(ii) The total amount paid by the customer inclusive of tax. 

Solution :

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 36

Let assumed mean (a) = 35

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 37

(b) Here PQ, is a tangent of the circle at A .

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 38

∠BAQ = 30°. Since AB is

angle bisector of ∠CAQ.

∴ ∠CAB = ∠BAQ = 30°

Again, ∠PAC = 180° – ∠CAQ

= 180°- 30°- 30°

= 120°

Also, AD is angle bisector of ∠PAC

∴ ∠PAD = ∠CAD = 60°

Since angles in the corresponding alternate segment are equal

∴ ∠ADB =∠BAQ = 30° and ∠DBA = ∠PAD = 60°

Also, angles in same segment are equal

∴ ∠DCA = ∠DBA = 60°

and ∠ACB = ∠ADB = 30°

Now, ∠DCB = ∠DCA + ∠ACB = 60° + 30° = 90°

We know that angle in a semi-circle is right angle.

Thus, BD is a diameter of the circle.

In ∆ACB, ∠ACB = ∠CAB = 30°

Hence, ∆ABC is an isosceles triangle.

List price of air conditioner = 45000

Discount = 10%

Thus, VAT paid by the shopkeeper to the government = ₹ (5130 – 4860) = ₹ 270

Total amount paid by the customer = ₹ (42750 + 5130) = ₹ 47880

 

Q. 9. (a) In the figure given, O is the centre of the circle. LDAE = 700.

Find giving suitable reasons, the measure of: 

(i) ∠BCD

(ii) ∠BOD

(iii) ∠OBD

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 39

(b) A(-1, 3), B(4, 2) and C(3, -2) are the vertices of a triangle. 

(i) Find the coordinates of the centroid G of the triangle.

(ii) Find the equation of the line through G and parallel to AC.

(c) Prove that: 

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 40

Solution :

(a) Here, ∠DAE = 70°

∴ ∠BAD = 180° ∠DAE

[a linear pair]

= 180° – 70° = 110°

ABCD is a cyclic quadrilateral

∴ ∠BCD + ∠BAD = 180°

∠BCD + 110° = 180°

⇒ ∠BCD = 180° – 110°

= 70°

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 41

Since angle subtended by an arc at the centre of a circle is twice the angle subtended at the remaining part of the circle.

∴ ∠BOD = 2∠BCD = 2 × 70° = 140°

In ∆OBD, OB = OD = radii of same circle.

∴ ∠OBD =∠ODB

Thus, ∠OBD = 1/2 (180° – ∠BOD) = 1/2 (180° – 140°) = 1/2 × 40° = 20°

(b) A(-1, 3), B(4, 2) and C(3, -2) are the vertices of ∆ABC.

∴ Coordinates of the centroid G of the ∆ABC are :

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 42

G(2, 1)

Here, line ‘l’ is drawn through G(2, 1) and parallel to the line AC.

∴ Slope of the line l = Slope of the line AC

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 43

(−2−3)/(3+1) = −5/4

y – 1 = (−5/4) (x – 2)

4y – 4 = – 5x + 10

5x + 4y = 14

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 44

Q. 10. (a) The sum of the ages of Vivek and his younger brother Amit is 47 years. The product of their ages in years is 550. Find their ages. 

(b) The daily wages of 80 workers in a project are given below

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 45

Use a graph paper to draw an ogive for the above distribution. (Use a scale of 2 cm = ₹ 50 on x-axis and 2 cm = 10 workers on y-axis. Use your ogive to estimate:

(i) the median wage of the workers.

(ii) the lower quartile wage of workers.

(iii) the number of workers who earn more than ₹ 625 daily.

Solution:

(a) Let Vivek’s age be x years

∴ Amit’s age = 47 – x

Also, product of their ages = 550

∴ x(47 – x) = 550

47x – x2 = 550

⇒ x2 – 47x + 550 =0

⇒ x2 – 25x – 22x + 550 = 0

⇒ x(x – 25) – 22(x – 25) = 0

⇒ (x – 25)(x – 22)= 0

⇒ x = 25

or x = 22

Since Vivek is elder brother of Amit.

Hence, age of Vivek is 25 years and age of Amit is 22 years.

(b) The cumulative frequency distribution for the given data is :ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 46

Plot the points (450, 2), (500, 8), (550, 20), (600, 38), (650, 62), (700, 75), (750, 80).

Join them free hand to get the required ogive.

Now, from the graph, we obtain:

(i) median wage of the workers = ₹ 605

(ii) lower quartile wage of workers = ₹ 550

(iii) Number of workers who earn more than ₹ 625 daily = 80 – 50 = 30.

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 47

Q. 11. (a) The angles of depression of two ships A and B as observed from the top of a light house 60 m high are 60° and 45° respectively. If the two ships are on the opposite sides of the light house, find the distance between the two ships. Give your answer correct to the nearest whole number. 

(b) PQR is a triangle. S is a point on the side QR of ∆PQR such that

∠PSR = ∠QPR.

Given QP = 8 cm, PR = 6 cm and SR = 3 cm. 

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 48

(i) Prove ∆PQR ~ ∆SPR

(ii) Find the length of QR and PS

(iii) (area of ΔPQR)/( area of ΔSPR)

(c) Mr. Richard has a recurring deposit account in a bank for 3 years at 7.5% p.a. simple interest. If he gets ₹ 8325 as interest at the time of maturity, find : 

(i) The monthly deposit

(ii) The maturity value.

Solution:

(a) Let PQ be the light house of height 60m, A and B are the two ships on the opposite sides of the light house, such that:

∠PAQ = 60°, ∠PBQ= 45°

In rt ∠ed ∆PQB, we have

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 49

PQ/QB

 = tan 45° = 1

⇒ PQ =QB = 60 m

In rt ∠ed ∆PQA, we have

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 50

Now, AB = AQ + QB = 60 + 34.6 = 94.6m

Hence, the distance between the two ships is 95 m (nearest to whole number).

(b) Given : QP = 8 cm, PR = 6 cm and SR = 3 cm

In ∆PQR and ∆SPR

∠QPR = ∠PSR (given)

∠QRP = ∠SRP (common)

∴ ∆PQR ~ ∆SPR (by AA similarity rule)

Since ∆PQR ~ ∆SPR

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 51

(c) Let the monthly deposit be ₹ x

Time = 3 years or 36 months, R = 7.5%, Interest = ₹ 8325.

ICSE Maths Question Paper 2017 Solved for Class 10 52

Thus, the monthly deposit is ₹ 2000

The maturity value = ₹ 36 × 2000 + ₹ 8325

= ₹ 72000 + ₹ 8325 = ₹ 80325

 

MATHS CLASS 10TH QUESTION PAPER 2018 (ICSE)

MATHEMATICS 

SECTION A

Q.  1 (a) Find the value of ‘x’ and ‘y’ if: 

(b) Sonia had a recurring deposit account in a bank and deposited `600 per month for 2½ years. If the rate of interest was 10% p.a., find the maturity value of this account. 

(c) Cards bearing numbers 2, 4, 6, 8, 10, 12, 14, 16, 18 and 20 are kept in a bag. A card is drawn at random from the bag. Find the probability of getting a card which is: 

    (i) a prime number. 

    (ii) a number divisible by 4. 

   (iii) a number that is a multiple of 6. 

   (iv) an odd number. 

Answer:

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 2

⇒ 2 JC + 6 = 10 ⇒ 2x = 4 ⇒ x = 2

And 2y – 5 = 15 ⇒ 2y = 20 ⇒ y = 10

Hence, the values of x and y are x = 2 and y = 10

(b) Here, amount deposited per month = ₹ 600

       Number of months = 2 x 12 + 6 = 30  [∵ v T = 2.5years]

        Rate of interest = 10% p.a.

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 3

Hence, the amount received by Sonia on maturity is ₹ 20325.

(c) Total number of cards in the bag = 10

(i) Total prime numbers = 1 i.e., 2

∴ Required Probability = 110

(ii) Total numbers divisible by 4 = 5 (i.e., 4, 8, 12, 16, 20]

Required Probability = 510=12

(iii) Total numbers divisible by 6 or multiple of 6 = 3 [i.e., 6, 12, 18]

∴ Required Probability = 310

(iv) Total odd number = 0

∴ Required Probability =010 = 0.

 

Q.  2 (a) The circumference of the base of a cylindrical vessel is 132 cm and its height is 25 cm. Find the  

    (i) radius of the cylinder 

    (ii) volume of cylinder. (use π =227) 

(b) If (k –3), (2k + 1) and (4k + 3) are three consecutive terms of an A.P., find the  value of k. 

(c) PQRS is a cyclic quadrilateral. Given ∠QPS = 73o, ∠PQS = 55oand ∠PSR = 82o,calculate: 

(i) ∠QRS 

(ii) ∠RQS 

(iii) ∠PRQ 

Answer :

(a) Let r be the radius of the base of cylindrical vessel and ft = 25 cm be its height.

Now, circumference of the base = 132 cm

2πr = 132

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 5

Hence, the radius of the cylinder is 21 cm and volume of the cylinder is 34650 cm3

(b) Here, ft – 3, 2k + 1 and 4k + 3 are three consecutive terms of an A.P.

∴ 2k + 1 – (k – 3) = 4k + 3 – (2k + 1)

⇒ 2k + 1 – k + 3 = 4k + 3 – 2k – 1

⇒ k + 4 = 2k + 2

⇒ 2k – k =4 – 2

⇒ k = 2

Hence, the value of ft is 2.

(c)(i) Since PQRS is a cyclic quadrilateral

∠QPS + ∠QRS – 180°

⇒ 73° + ∠QRS = 180°

⇒ ∠QRS = 180° – 73°

∠QRS = 107°

(ii) Again, ∠PQR + ∠PSR = 180°

∠PQS + ∠RQS + ∠PSR = 180°

55° – ∠RQS + 82° = 180°

∠RQS = 180° – 82° – 55° = 43°

(iii) In ∆PQS, by using angles sum property of a ∆.

∠PSQ + ∠SQP + ∠QPS = 180°

∠PSQ + 55° + 73° = 180°

∠PSQ = 180° – 55° – 73°

∠PSQ = 52°

Now, ∠PRQ = ∠PSQ = 52° [∠s of the same segment]

Hence, ∠QRS = 107°, ∠RQS = 43° and  ∠PRQ = 52°

Q.  3 (a) If (x+ 2) and (x + 3) are factors of x3 + ax + b, find the values of ‘a’ and ‘b’. 

(b) Prove that sec2θ+cosec2θ  = tanθ + cot θ

(c) Using a graph paper draw a histogram for the given distribution showing the number of runs scored by 50 batsmen. Estimate the mode of the data: 

Runs  scored 3000- 4000 4000- 5000 5000- 6000 6000- 7000 7000- 8000 8000- 9000 9000- 10000
No. of  batsmen 18  4

Answer :

(a) Given that (x + 2) and (x + 3) are factors of p(x) = x3 + ax + b.

∴ p(- 2) = (- 2)3 + o(- 2) + b = 0

⇒ – 8 – 2a + b = 0 => – 2a + b = 8 …….(i)

And p(- 3) = (- 3)3 + a(- 3) + b = 0

⇒ – 27 – 3a + b = 0 => – 3a + b = 27 ……..(ii)

Subtracting (i) from (ii), we obtain

(- 3a 4 – b) – (- 2a + b) = 27 – 8

– 3a + b + 2a – b = 19

-a = 19

⇒ a = 19

From (i), we obtain

– 2(19) + b = 8

– 38 + b = 8

⇒ b = 8 + 38

⇒ b = 46

Hence, the values of a and b are a = 19 and b = 46.

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 8
ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 9

Q.  4 (a) Solve the following inequation, write down the solution set and represent it on the real number line: 

    −2 + 10x ≤ 13x + 10 < 24 + 10x, x ∈ Z

(b) If the straight lines 3x − 5y = 7 and 4x + ay + 9 = 0 are perpendicular to one another, find the value of a. 

(c) Solve x2 + 7x = 7 and give your answer correct to two decimal places. 

Answer.

(a)

 Given that :

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 10

Thus, the required solution set is :

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 11

Using number line, we have

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 12

(b)Given lines are

3x – 5y = 1 ……….(i) and 4x + ay + 9 = 0  …………(ii)

Slope of line (i) (m1) =  −(3-5)=35

Slope of line (ii) (m2) = −(4a)

Also, given that two lines are perpendicular to one and another

∴ (m1) (m2) = – 1

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 13

Hence, the value of a = 125 .

(c) Here, x2 + 7x = 7

⇒ x2 + 7x – 7 = 0

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ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 15

SECTION B 

Q.  5 (a) The 4th term of a G.P. is 16 and the 7th term is 128. Find the first term and common ratio of the series. 

(b) A man invests `22,500 in `50 shares available at 10% discount. If the dividend paid by the company is 12%, calculate: 

    (i) The number of shares purchased 

    (ii) The annual dividend received. 

    (iii) The rate of return he gets on his investment. Give your answer correct to the nearest whole number. 

(c) Use graph paper for this Q.  (Take 2cm = 1unit along both x and y axis).  

     ABCD is a quadrilateral whose vertices are A(2,2), B(2,–2), C(0,–1) and D(0,1). 

    (i) Reflect quadrilateral ABCD on the y-axis and name it as A’B’CD.  

    (ii) Write down the coordinates of A’ and B’. 

   (iii) Name two points which are invariant under the above reflection. 

   (iv) Name the polygon A’B’CD. 

Answer.

(a) Let a and r be the first term and common ratio of given G.P.

∴ a4 = 16

⇒ ar3 = 16

and a7= 128

⇒ a6 = 128

Dividing (ii) and (i), we obtain

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 16

a3 = 3

a3= 23

a = 2

From (i), we have

2(r3) = 16

r3 = 8

r3 = 23

⇒ r = 2

Hence, the first term and common ratio of the given series is 2 and 2.

(b) Total investment = ₹ 22,500

Face value of a share = ₹ 50

Market value of a share = ₹ (50 – 10% of 50) = ₹ (50 – 5) = ₹ 45

∴ No. of shares purchased = 2250045= 500

Annual dividend per share = 12 % of 50

Total annual dividend = ₹ 6 × 500 = ₹ 3000

Rate of return =

= 13.3 %

= 13% (Nearest whole number)

Hence, number of shares purchased are 500, total annual dividend is ₹ 3000 and rate of return on investment is nearly 13 % p. a.

(c) Scale used is : 2 cm = 1 unit along both x and y axis.

(i) Here, vertices of the quadrilateral ABCD are A(2, 2), B(2, -2), C(0, -1) and D(0, 1)

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(iii) Two points which are invariant are C and D.

(iv) A’B’CD is a trapezium.

Q.  6 (a) Using properties of proportion, solve for x. Given that x is positive: 

(c) Prove that (1 + cotθ−cosecθ)(1 + tanθ+ secθ)= 2

Answer.

(a)

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By componendo and Dividendo, we have

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 23

Squaring both sides, we have

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 24

Hence the value of x is 58

(b) Given that

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 25

(c) L.H.S. = (1 +cot θ – cosec θ) (1 + tan θ + sec θ)

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Q.  7 (a) Find the value of k for which the following equation has equal roots. 

                         x2 + 4kx + (k2 − k + 2) = 0 

(b) On a map drawn to a scale of 1 : 50,000, a rectangular plot of land ABCD has the following dimensions. AB = 6cm; BC = 8cm and all angles are right angles. Find: 

   (i) the actual length of the diagonal distance AC of the plot in km. 

  (ii) the actual area of the plot in sq km. 

(c) A(2, 5), B(–1, 2) and C(5, 8) are the vertices of a triangle ABC, ‘M’ is a point on AB such that AM : MB = 1 : 2. Find the co-ordinates of ‘M’. Hence find the  equation of the line passing through the points C and M. 

Answer.

(a) Given quadratic equation is :

x2 + 4kx + (k2 – k + 2) = 0

For equal roots, we have

b2– 4 ac = 0

⇒ (4k)2 – 4(1) (k2-k + 2) = 0

⇒ 16k2 – 4k2 + 4k – 8 = 0

⇒ 12k2+ 4k – 8 = 0

or 3k2 + k – 2 = 0

⇒ 3k2 + 3k – 2k -2 = 0

⇒ 3k(k + 1) – 2(k + 1) = 0

⇒ (k + 1)(3k – 2) = 0

⇒ k + 1=0 or 3k – 2 = 0

k = – 1 or k = 23

(b) Scale used on the map is 1 : 50,000

Dimensions of a rectangular plot ABCD are AB = 6 cm, BC = 8 cm Since each angle is right angle

∴ By using Pythagoras theorem, we have

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 27

(i) Actual length of the diagonal AC = 10 × 50000 cm

= 500000100000km

= 5 km

(ii) Area of the rectangular field ABCD on map

= 6 × 8 = 48 cm2

Actual area of the field = 48 × 500000 × 500000

= 12(10)10 sq. cm.

= 12 sq. km.

(c) Coordinates of the vertices of a ∆ ABC are A(2, 5), B(- 1, 2) and C (5, 8). Since M is a point on AB such that AM : MB = 1 : 2

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ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 29

Coordinates M are

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Now, equation of the line CM is given as :

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 31

Q.  8 (a) ₹ 7500 were divided equally among a certain number of children. Had there been 20 less children, each would have received ₹100 more. Find the original number of  children. 

(b) If the mean of the following distribution is 24, find the value of ‘a’. 

Marks  0 – 10  10 – 20  20 – 30  30 – 40  40 – 50
Number of  students  10  5

(c) Using ruler and compass only, construct a ∆ABC such that BC = 5 cm and AB = 6.5

      cm and ∠ABC = 120° 

   (i) Construct a circum-circle of ∆ABC 

  (ii) Construct a cyclic quadrilateral ABCD, such that D is equidistant from AB and  BC. 

Answer.

(a) Total amount = ₹ 7500

Let the number of children be x

∴ Share of each child = ₹7500x 

According to the statement

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 33

(x – 20) (7500 + 100x) = 7500 x

7500x + 100x2– 150000 – 2000x – 7500x = 0

100x2 – 200x – 150000 = 0

x2 – 20x – 1500 = 0

x2 – 50x + 30x – 1500 = 0

x(x – 50) + 30(x – 50) = 0

(x – 50) (x + 30) = 0

⇒ x = 50 or x = – 30

Rejecting -ve value, because number of children cannot be negative.

∴ x = 50

Hence, the original number of children is 50.

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Mean = 24 (given)

∴ (15a+810)/(30+a)= 24

15a + 810 = 720 + 24a

⇒ 24a – 15a = 810 – 720

⇒ 9a = 90

⇒ a = 10

Hence, the value of a is 10.

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 35

Steps of Construction :

  1. Draw a line segment AB = 6.5 cm.
  2. At B, construct an angle of 120° and cut off BC = 5 cm.
  3. Join AC, to have ∆ABC.
  4. Draw the perpendicular bisectors of line segments AB and BC.
  5. Let they intersect each other in 0.
  6. With 0 as centre and radius OA or OB or OC, draw the circumcircle of ∆ABC.
  7. Produce perpendicular bisector of line segment AB and let it intersect the circumcircle of ∆ABC at D.
  8. Join AD and CD.
    Thus, quad. ABCD is the required quadrilateral.

Q.  9 (a) Priyanka has a recurring deposit account of ₹1000 per month at 10% per annum. If she gets ₹5550 as interest at the time of maturity, find the total time for which the account was held. 

(b) In ΔPQR, MN is parallel to QR and  

  (ii) Prove that ΔOMN and ΔORQ are similar. 

  (iii) Find, Area of ΔOMN : Area of ΔORQ 

  (c) The following figure represents a solid consisting of a right circular cylinder with a hemisphere at one end and a cone at the other. Their common radius is 7 cm. The height of the cylinder and cone are each of 4 cm. Find the volume of the solid. 

Answer:

  1. Amount deposited per month = ₹ 1000

           Rate of interest = 10% p.a.

            Interest = ₹ 5550

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n2 + n = 1332

n2 + n – 1332 = 0

n2 + 37n – 36n – 1332 = 0

n(n + 37) – 36(n + 37) = 0

(n – 36) (n + 37) = 0

n = 36 or n = – 37

Rejecting – ve value of n, we have n = 36

Hence, the total time for which the account was held, was 36 month or 3 years.

(b) Given that:

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 39

In ∆PQR, MN is parallel to QR

∴ By using Basic Proportionality theorem, we have

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 40

(c) Here, radius of cone = radius of cylinder = radius of hemisphere = 7 cm

Height of cone = 4 cm

Height of cylinder = 4 cm

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Q.  10 (a) Use Remainder theorem to factorize the following polynomial: 

              2x3 + 3x2 − 9x − 10. 

(b) In the figure given below ‘O’ is the centre of the circle. If QR = OP and ∠ORP = 20°

      Find the value of ‘x’ giving reasons. 

(c) The angle of elevation from a point P of the top of a tower QR, 50m high is 60o and that of the tower PT from a point Q is 30o. Find the height of the tower PT, correct to the nearest meter.

Answer :

(a)  Let p(x) = 2x3 + 3x2 – 9x – 10

Factors of constant term 10 are ± 1, ± 2, ± 5

Put x = 2, we have

p(2) =2(2)3 + 3(2)2 – 9(2) – 10

= 16 + 12 – 18 – 10

= 0

∴ (x – 2) is a factor of p(x)

Put x = – 1, we have

P(-1) =2(-1)3 + 3(-1)2 – 9 (-1) – 10

= – 2 + 3 + 9 – 10 = 0

∴ (x + 1) is a factor of p(x)

Thus, (x + 1) (x – 2) i.e.,x2 – x – 2 is a factor of p(x)

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 44

Hence, (x + 1), (x – 2) and (2x + 5) are the factors of given polynomial 2x3 + 3x2 – 9x – 10.

(b) 

Here, in ∆OPQ

OP = OQ = r

Also, OP = QR [Given]

OP = OQ = QR = r

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 45

In ∆OQR, OQ = QR

∠QOR = ∠ORP = 20°

And ∠OQP = ∠QOR + ∠ORQ

= 20° + 20°

= 40°

Again, in ∆ OPQ

∠POQ = 180° – ∠OPQ – ∠OQP

= 180°- 40° – 40°

= 100°

Now, x° + ∠POQ + ∠QOR = 180° [a straight angle]

x° + 100° + 20° = 180°

x° = 180° – 120° = 60°

Hence, the value of x is 60.

(c) 

Here, Height of the tower (QR) = 50 m

Height of the tower (PT) = h m

Inrt. ∠ed ∆ PQR, ∠RPQ = 60°

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 46

Also, inrt. ∠ed ∆ QPT, ∠TQP = 30°

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 47

Hence, the required height of tower PT is 17 m (nearest to metre). 

   Q.  11 (a) The 4th term of an A.P. is 22 and 15th term is 66. Find the first term and the common difference. Hence find the sum of the series to 8 terms. 

(b) Use Graph paper for this Q. . 

    A survey regarding height (in cm) of 60 boys belonging to Class 10 of a school Was conducted. The following data was recorded: 

Height in cm  135 – 140  140 – 145  145 – 150  150 – 155  155 – 160  160 – 165  165 – 170
No. of  boys 20  14  1

Taking 2cm = height of 10 cm along one axis and 2 cm = 10 boys along the other  axis draw an ogive of the above distribution. Use the graph to estimate the  following: 

 (i) the median 

 (ii) lower Quartile 

 (iii) if above 158 cm is considered as the tall boys of the class. Find the number of  boys in the class who are tall. 

Answer.

(a) Let a and d be the first term and common difference of the required A.P.

∴ a4 = 22

⇒ a + 3d = 22 ………(i)

And a15 = 66

⇒ a + 14d = 66 ………..(ii)

Subtracting (i) from (ii), we have

(14d – 3d) = 66 – 22

11d = 44

d = 4

From (i), we have

a + 3(4) = 22

a = 22 – 12 = 10

Thus, a = 10 and d = 4

Now, Sn = n/2 [2a + (n – 1)d]

⇒ S8= 8/2[2(10) + (8-1)4]

S8 = 4 [20 + 28]

S8 = 4 x 48 S8 = 192

(b) Given data was recorded as :

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 49

Plot the points (140,4), (145,12), (150,32), (155,46), (160,53), (165,59) and (170,60). Join them free hand to get the required ogive.

Now, from the graph, we obtain :

(i) Median height (in cm) = 149.5 cm

(ii) Lower Quartile = 146 cm ‘

(iii) Number of boys who are tall e., height above 158 cm = 60 – 51 = 9.

ICSE Maths Question Paper 2018 Solved for Class 10 50

HINDI CLASS 10TH QUESTION PAPER 2018 (ICSE)

HINDI

SECTION – A

प्रश्न 1. निम्नलिखित विषयों में से किसी एक विषय पर हिंदी में लगभग 250 शब्दों में संक्षिप्त लेख लिखिए :

(i) ‘परोपकार की भावना लोक-कल्याण से पूर्ण होती है।’ हमें भी परोपकार से भरा जीवन ही जीना चाहिए। विषय को स्पष्ट करते हुए अपने विचार लिखिए।

(ii) “आजकल देश में आवासीय विद्यालयों (Boarding Schools) की बाढ़ सी आ गई है। आवासीय विद्यालयों की छात्रों के जीवन में क्या उपयोगिता हो सकती है ?” – इस प्रकार के विद्यालयों की अच्छाइयों एवं बुराइयों के बारे में बताते हुए वर्तमान में इनकी आवश्यकता पर अपने विचार लिखिए।

(iii) संयुक्त परिवार के किसी ऐसे उत्सव के आनंद का विस्तार से वर्णन कीजिए, जहाँ आपके परिवार के बच्चे-बुजुर्ग सभी उपस्थित थे।

(iv) एक ऐसी मौलिक कहानी लिखिए जिसके अंत में यह वाक्य लिखा गया हो-‘अंततः मैं अपनी – योजना में सफल हो सका/हो सकी।’

(v) नीचे दिए गए चित्र को ध्यान से देखिए और चित्र को आधार बनाकर उसका परिचय देते हुए कोई लेख, घटना अथवा कहानी लिखिए, जिसका सीधा व स्पष्ट संबंध चित्र में होना चाहिए।

ICSE Hindi Question Paper 2018 Solved for Class 10 1

उत्तर :

(i) ‘परोपकार की भावना लोक-कल्याण से पूर्ण होती है। हमें भी परोपकार भरा जीवन ही जीना चाहिए। विषय को स्पष्ट करते हुए अपने विचार लिखिए। परोपकार अथवा परमार्थ या लोक कल्याण की भावना हमारी संस्कृति का अटूट अंग है। हमारे देश के अतीत को देखा जाए तो असंख्य ऐसे परोपकारी महापुरुष मिल जाएँगे जिन्होंने अपना सर्वस्व अर्पित करके परोपकार को महत्त्व दिया। परोपकार और परहित दो-दो शब्दों से मिलकर बने हैं – पर + उपकार, पर + हित । इन दोनों का आशय हैदूसरों का उपकार या हित करना। प्राचीन काल से ही मनुष्य में दो प्रकार की प्रवृत्तियाँ कार्य कर रही हैंस्वार्थ की तथा परमार्थ की। परमार्थ की भावना से किया गया कार्य ही परोपकार के अंतर्गत आता है।

जब व्यक्ति ‘स्व’ की परिधि से निकलकर ‘पर’ की परिधि में प्रवेश करता है, तो उसके इस कृत्य को परोपकार कहा जाता है। संस्कृत में कहा गया है कि फल आने पर वृक्षों की डालियाँ झुक जाती हैं, जिसका आशय है कि फल आने पर वृक्ष अपने फल संसार की सेवा के लिए अर्पित कर देते हैं। प्रकृति का कण-कण परोपकार में लगा हुआ है। नदी अपना जल स्वयं नहीं पीती, पेड़ अपने फल स्वयं नहीं खाते, सूर्य स्वयं तपकर दूसरों को प्रकाश तथा ऊष्मा देता है। रहीम ने ठीक ही कहा है

‘वृक्ष कबहुँ नहिं फल भखै, नदी न संचै नीर

परमारथ के कारने साधुन धरा सरीर।’

महापुरुषों का जीवन परोपकार के लिए होता है। भारतीय संस्कृति के अनुसार भगवान भी पृथ्वीवासियों का कल्याण करने के लिए धरती पर अवतीर्ण होते हैं । कृष्ण ने गीता में स्वयं कहा है- ‘परित्राणाय साधूनां विनाशाय च दुष्कृताम्।’ महर्षि दधीचि ने स्वेच्छा से अपनी अस्थियाँ असुरों के विनाश के लिए दे दी। आधुनिक युग में ईसा मसीह ने मानव मात्र के कल्याण के लिए सूली पर चढ़ना स्वीकार कर लिया। महात्मा गांधी ने अपना सारा जीवन परोपकार में लगा दिया।

मदर टेरेसा ने परोपकार को ही अपना जीवन-लक्ष्य बना लिया। पशु केवल अपने लिए जीता है, पर मनुष्य दूसरों के लिए भी जीता है, इसलिए वह पशु से भिन्न है। यही पशु प्रवृत्ति है कि आप ही चरे, मनुष्य है वहीं कि जो मनुष्य के लिए मरे।’ संसार के सभी विचारकों ने मानवता की सेवा को मनुष्य का परम धर्म स्वीकार किया है। आज का मानव स्वार्थ की भावना से युक्त है। वह पशु-तुल्य जीवन व्यतीत कर रहा है। वह येन-केन प्रकारेण अधिकाधिक धन कमाकर अधिक-से-अधिक सुख एवं ऐश्वर्य प्राप्त करना चाहता है।

अपने इस उद्देश्य की प्राप्ति के लिए वह अपना स्वार्थ सिद्ध करने में भी पीछे नहीं हटता। स्वार्थ की इसी प्रवृत्ति के कारण आज चारों ओर ईर्ष्या, वैमनस्य, कटुता, अशांति आदि का बोलबाला हो गया है। हमारा कर्तव्य है कि हम परोपकारी बनें तथा दूसरों को भी सुखी बनाने की चेष्टा करें। हमें भारतीय संस्कृति के इस आदर्श को ध्यान में रखना चाहिए। यह भी ध्यान रहे कि हमारे पूर्वजों ने परोपकार के लिए अपना तन, मन, धन न्योछावर करने की परिपाटी निभाने में कभी कोई कसर नहीं उठा रखी थी।

प्रश्न 2. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर हिंदी में लगभग 120 शब्दों में पत्र लिखिए :

(i) आप अपने विद्यालय के सफाई अभियान दल’ के नेता हैं। एक योजना के अंतर्गत आप छात्रों के एक दल को किसी इलाके में सफाई के प्रति जागरूक करने हेतु ले जाना चाहते हैं। अपने विद्यालय के प्रधानाचार्य प्रधानाचार्या जी को इसके लिए स्वीकृति हेतु पत्र लिखिए।

(ii) पिछले महीने कुछ प्रयासों द्वारा आपके विद्यालय के छात्रों ने कुछ धनराशि एकत्रित करके मूक-बधिर (deaf and dumb) विद्यालय के विद्यार्थियों की सहायता की थी। इसका वर्णन करते हुए अपने मित्र को एक पत्र लिखिए और बताइए कि हमें समाज के विकलांग लोगों के प्रति कैसा व्यवहार रखना चाहिए व उनकी सहायता के लिए किस प्रकार के प्रयास करने चाहिए।

उत्तर :

(i) सेवा में

प्रधानाचार्य महोदय,

……. उच्चतर माध्यमिक विद्यालय,

……. नगर।

मान्य महोदय,

सविनय निवेदन है कि मैं कक्षा दसवीं ‘अ’ का छात्र हूँ और विद्यालय के ‘सफाई अभियान दल’ का नेता हूँ। गत सप्ताह नगर के स्वच्छता स्वयं सेवक संघ के सचिव ने हमारे समक्ष प्रस्ताव रखकर तीर्थाटन बस्ती में सफाई अभियान चलाने की प्रेरणा दी। वे हमारे सेवा दल को प्रोत्साहित करने के लिए अपना तीस सदस्यों का दल तथा अल्पाहार की सामग्री भेजेंगे।

मेरी आपसे प्रार्थना है कि हमारे विद्यालय के ‘सफाई अभियान दल’ के एक सौ छात्रों को इस अभियान में शामिल होने की अनुमति प्रदान की जाए। अति धन्यवादी होऊँगा।

आपका आज्ञाकारी शिष्य,

क.ख. ग.

कक्षा दसवीं ‘अ’

दिनांक – 6 जुलाई, 20…..

(ii) परीक्षा भवन

………… नगर।

20 जनवरी, 20….।

प्रिय मित्र सुकेत,

नमस्कार।

मैं यह पत्र एक विशेष उद्देश्य से लिख रहा हूँ। गत मास हमारे विद्यालय के कुछ छात्रों ने विशेष प्रयास करके चंदे के रूप में तेरह हज़ार रुपए की धनराशि एकत्र की थी। स्वयं सेवक छात्रों के इस प्रयास को प्रधानाचार्य महोदय ने विशेष रूप में पसंद किया और इसे जनहित कार्य में लगाने की प्रेरणा दी। जब हमारी समिति के सदस्यों की बैठक हुई तो सभी ने एकमत होकर नगर के मूक-बधिर विद्यालय के विद्यार्थियों की सहायता में उक्त धनराशि लगाने का निर्णय लिया। सात सदस्यों का एक दल गठित किया गया जो हमारे सामाजिक विज्ञान के अध्यापक के साथ जाकर उक्त धनराशि को सुपात्र विकलांग विद्यार्थियों में बाँटेगा।

मित्र, मुझे मूक-बधिर विद्यालय में जाकर ऐसा अनुभव हुआ कि हम समर्थ व स्वस्थ लोगों को उस समाज की अवश्य सहायता करनी चाहिए जो शारीरिक व मानसिक रूप से विकलांग है। अब हमने निर्णय लिया है कि अपनी-अपनी कक्षा में एक दान-पात्र रखा जाएगा जिस में एकत्र राशि ऐसे ही लोगों पर खर्च होगी। मेरा प्रस्ताव है कि आपको भी अपने नगर में ऐसा प्रयास करना चाहिए।

तुम्हारा अभिन्न मित्र,

क. ख. ग.

प्रश्न 3. निम्नलिखित गद्यांश को ध्यान से पढ़िए तथा उसके नीचे लिखे गए प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए। उत्तर यथासंभव आपके अपने शब्दों में होने चाहिए :

सूर्य अस्त हो रहा था। पक्षी चहचहाते हुए अपने नीड़ की ओर जा रहे थे। गाँव की कुछ स्त्रियाँ अपने घड़े लेकर कुएँ पर जा पहुँची। पानी भरकर कुछ स्त्रियाँ तो अपने घरों को लौट गई, परंतु चार स्त्रियाँ कुएँ की पक्की जगत पर ही बैठकर आपस में बातचीत करने लगीं। तरह-तरह की बातचीत करते-करते बात बेटों पर जा पहुँची। उनमें से एक की उम्र सबसे बड़ी लग रही थी। वह कहने लगी-“भगवान सबको मेरे जैसा ही बेटा दे। वह लाखों में एक है। उसका कंठ बहुत मधुर है। उसके गीत को सुनकर कोयल और मैना भी चुप हो जाती है। सच में मेरा बेटा तो अनमोल हीरा है।”

उसकी बात सुनकर दूसरी अपने बेटे की प्रशंसा करते हुए बोली-“बहन मैं तो समझती हूँ कि मेरे बेटे की बराबरी कोई नहीं कर सकता। वह बहुत ही शक्तिशाली और बहादुर है। वह बड़े-बड़े पहलवानों को भी पछाड़ देता है। वह आधुनिक युग का भीम है। मैं तो भगवान से कहती हूँ कि वह मेरे जैसा बेटा सबको दे।” दोनों स्त्रियों की बात सुनकर तीसरी भला क्यों चुप रहती ? वह भी अपने को रोक न सकी। वह बोल उठी”मेरा बेटा साक्षात् बृहस्पति का अवतार है। वह जो कुछ पढ़ता है, एकदम याद कर लेता है। ऐसा लगता है बहन, मानों उसके कंठ में सरस्वती का वास हो।”

तीनों की बात सुनकर चौथी स्त्री चुपचाप बैठी रही। उसका भी एक बेटा था। परंतु उसने अपने बेटे के बारे में कुछ नहीं कहा। जब पहली स्त्री ने उसे टोकते हुए पूछा कि उसके बेटे में क्या गुण है, तब चौथी स्त्री ने सहज भाव से कहा”मेरा बेटा ना गंधर्व-सा गायक है, न भीम-सा बलवान और न ही बृहस्पति-सा बुद्धिमान।” यह कह कर वह शांत बैठ गई। कुछ देर बाद जब वे घड़े सिर पर रखकर लौटने लगीं, तभी किसी के गीत का मधुर स्वर सुनाई पड़ा, गीत सुनकर सभी स्त्रियाँ ठिठक गईं। पहली स्त्री शीघ्र ही बोल उठी-“मेरा हीरा गा रहा है। तुम लोगों ने सुना, उसका कंठ कितना मधुर है।” तीनों स्त्रियाँ बड़े ध्यान से उसे देखने लगी। वह गीत गाता हुआ उसी रास्ते से निकल गया।

उसने अपनी माँ की तरफ ध्यान नहीं दिया। थोड़ी देर बाद दूसरी का बेटा दिखाई दिया। दूसरी स्त्री ने बड़े गर्व से कहा, “देखो मेरा बलवान बेटा आ रहा है। वह बातें कर ही रही थी कि उसका बेटा भी उसकी ओर ध्यान दिए बगैर निकल गया।” तभी तीसरी स्त्री का बेटा उधर से संस्कृत के श्लोकों का पाठ करता हुआ निकला। तीसरी ने बड़े गद्गद् स्वर में कहा “देखो, मेरे बेटे के कंठ में सरस्वती का वास है। वह भी माँ की ओर देखे बिना आगे बढ़ गया। वह अभी थोड़ी दूर गया होगा कि चौथी स्त्री का बेटा भी अचानक उधर से आ निकला।

वह देखने में बहुत सीधा-सादा और सरल प्रकृति का लग रहा था। उसे देखकर चौथी स्त्री ने कहा, “बहन, यही मेरा बेटा है।” तभी उसका बेटा पास आ पहुँचा। अपनी माँ को देखकर रुक गया और बोला, “माँ लाओ मैं तुम्हारा घड़ा पहुँचा दूँ। माँ ने मना किया, फिर भी उसने माँ के सिर से पानी का घड़ा उतारकर अपने सिर पर रख लिया और घर की ओर चल पड़ा। तीनों स्त्रियाँ बड़े ही आश्चर्य से देखती रहीं। एक वृद्ध महिला बहुत देर से उनकी बातें सुन रही थी। वह उनके पास आकर बोली, “देखती क्या हो? यही सच्चा हीरा है।”

(i) पहली तथा दूसरी स्त्री ने अपने-अपने बेटे के विषय में क्या कहा? 

(ii) तीसरी स्त्री ने अपने बेटे को ‘बृहस्पति का अवतार’ क्यों कहा? 

(iii) पहली स्त्री द्वारा पूछे जाने पर चौथी स्त्री ने क्या कहा? 

(iv) चौथी स्त्री के बेटे ने अपनी माँ के साथ कैसा व्यवहार किया, यह देखकर तीनों स्त्रियों को कैसा लगा? 

(v) बच्चों को अपने माता-पिता के साथ कैसा व्यवहार करना चाहिए ? समझाइए। 

उत्तर :

(i) पहली स्त्री ने अपने बेटे की प्रशंसा करते हुए उसे मधुर गायक बताया। दूसरी स्त्री ने अपने पुत्र को शक्तिशाली योद्धा बताया जो बड़े-बड़े पहलवानों को हरा देता है।

(ii) तीसरी स्त्री ने अपने पुत्र को बृहस्पति का अवतार बताया क्योंकि उसे पढ़ते ही सब कुछ कंठस्थ हो जाता था। जैसे उसके गले में सरस्वती का निवास हो।

(iii) पहली स्त्री द्वारा पूछे जाने पर चौथी स्त्री ने कहा कि उसके बेटे में उक्त तीनों स्त्रियों के पुत्रों जैसा कोई भी गुण नहीं है।

(iv) चौथी स्त्री के बेटे ने अपनी माँ का सिर पर धरा पानी का घड़ा ले लिया ताकि उसे घर पहुँचाने में सहायता कर सके। यह सहयोग व सम्मान देखकर तीनों स्त्रियों को आश्चर्य हुआ।

(v) बच्चों को अपने माता-पिता की हर संभव सहायता करनी चाहिए। छोटे से छोटे काम में दिया गया सहयोग माता-पिता को प्रसन्न करता है। यह ऐसी भक्ति है जिसका फल सदैव अनुकूल तथा सकारात्मक होगा।

प्रश्न 4. निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर निर्देशानुसार लिखिए :

(i) निम्नलिखित शब्दों में से दो शब्दों के विलोम लिखिए : कीर्ति, निर्मल, विजय, निर्दोष ।

(ii) निम्नलिखित शब्दों में से किसी एक शब्द के दो पर्यायवाची शब्द लिखिए : धनवान, किनारा, दूध।

(ii) निम्नलिखित शब्दों से विशेषण बनाइए : अपेक्षा, गुण।

(iv) निम्नलिखित शब्दों में से किन्हीं दो शब्दों के शुद्ध रूप लिखिए : प्रदर्षनी, लच्छमी, अपरीचीत।

(v) निम्नलिखित मुहावरों में से किसी एक की सहायता से वाक्य बनाइए : आसमान से बातें करना, उड़ती चिड़िया पहचानना।

(vi) कोष्ठक में दिए गए निर्देशानुसार वाक्यों में परिवर्तन कीजिए :

(a) मोहन और रमेश सच्चे मित्र थे। ‘ (‘मित्रता’ शब्द का प्रयोग कीजिए।)

(b) मुझसे कोई भी बात कहने में संकोच न करें। (रेखांकित के लिए एक शब्द का प्रयोग करते हुए वाक्य को पुनः लिखिए।)

(c) शिक्षक ने अपने शिष्य को आदेश दिया। (वचन बदलिए।)

उत्तर :

(i) कीर्ति – अपकीर्ति

निर्मल – मैला

विजय – पराजय

निर्दोष – दोषपूर्ण

(ii) धनवान – धनी, धनपति

किनारा – कूल, तट

दूध – पय, क्षीर

(iii) अपेक्षा – अपेक्षित

गुण – गुणी/गुणज्ञ

(iv) प्रदर्शिनी, लक्ष्मी, अपरिचित

(v) आसमान से बातें करना- महाराणा प्रताप का घोड़ा चेतक आसमान से बातें करता था। उड़ती चिड़िया पहचानना – सुधीर इतना कुशाग्रबुद्धि है कि उड़ती चिड़िया को पहचान लेता है।

(vi) (a) मोहन और रमेश में सच्ची मित्रता थी।

(b) मुझसे कोई भी बात निस्संकोच करें।

(c) शिक्षकों ने अपने शिष्यों को आदेश 

SECTION – B

साहित्य सागर – संक्षिप्त कहानियाँ

प्रश्न 5. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

आनंदी की त्यौरी चढ़ गई। झुंझलाहट के मारे बदन में ज्वाला-सी दहक उठी। बोली, “जिसने तुमसे यह आग लगाई है, उसे पाऊँ तो मुँह झुलस दूं।”

                                                                           [‘बड़े घर की बेटी’ – प्रेमचंद] 

(i) आनंदी की त्यौरी क्यों चढ़ी हुई थी ? वह किसका इंतजार कर रही थी ? 

(ii) श्रीकंठ सिंह ने आनंदी से क्या जानना चाहा ? 

(iii) इससे पहले लालबिहारी और बेनीमाधव सिंह श्रीकंठ सिंह से क्या कह चुके थे ? 

(iv) आनंदी से घटना का हाल जानकर श्रीकंठ सिंह को कैसा लगा? उन्होंने अपने पिता से क्या कहा? 

उत्तर :

(i) आनंदी का अपने देवर लालबिहारी के साथ विवाद हो गया था। इसी कारण उसकी त्यौरी चढ़ी हुई थी। वह अपने पति श्रीकंठ सिंह का इंतजार कर रही थी।

(ii) श्रीकंठ सिंह ने अपनी पत्नी आनंदी से जानना चाहा था कि घर में मचे उपद्रव का वास्तविक कारण क्या था ?

(iii) इससे पहले बेनीमाधव सिंह ने लालबिहारी की ओर से साक्षी देते हुए कहा कि बहू-बेटियों का यह स्वभाव अच्छा नहीं कि वे पुरुषों के मुँह लगें। लालबिहारी का तर्क था कि आनंदी अपने मायके का रौब झाड़ती रहती है।

(iv) आनंदी से घटना की जानकारी लेकर श्रीकंठ सिंह को बहुत बुरा लगा और वह अलग घर बसाने का निर्णय लेकर अपने पिता से कहने लगा कि उसका इस संयुक्त परिवार में निर्वाह नहीं होगा।

प्रश्न 6. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“रात को बड़े जोर का झक्कड़ चला। सेक्रेटेरियट के लॉन में जामुन का पेड़ गिरा। सुबह को जब माली ने देखा, तो उसे पता चला कि पेड़ के नीचे एक आदमी दबा पड़ा है।”

                                                             [“जामुन का पेड़’ – कृष्ण चंदर] 

(i) माली ने यह देखकर क्या किया और क्यों ? 

(ii) पहले दूसरे और तीसरे क्लर्क ने क्या कहा ? क्या तीसरे क्लर्क को उस दबे हुए आदमी से सहानुभूति थी? 

(iii) माली ने क्या सुझाव दिया ? मोटे चपरासी की बात सुनकर माली क्या बोला ? 

(iv) कहानी के अंत में क्या हुआ था ? देर से मिलने वाला न्याय महत्त्वहीन होता है कैसे? 

उत्तर :

(i) माली ने पेड़ के नीचे दबे आदमी को देखा तो वह दौड़ा-दौड़ा चपरासी के पास गया। चपरासी क्लर्क के पास और क्लर्क सुपरिटेंडेंट के पास गया।

(ii) पहले क्लर्क ने जामुन के फलदार पेड़ की प्रशंसा की, दूसरे ने उसकी रसीली जामुनों की प्रशंसा की तो तीसरे ने कहा कि फलों के मौसम में वह जामुनें ले जाता था जिन्हें उसके बच्चे चाव से खाते थे।

(iii) माली ने सुझाव दिया कि पेड़ को हटाकर उसके नीचे दबे व्यक्ति को जल्दी से निकाल लेना चाहिए। यह सुनकर एक सुस्त कामचोर और मोटा चपरासी बोला कि पेड़ का तना बहुत मोटा और वज़नी है।

(iv) कहानी के अंत में कागजी कार्यवाही पूरी होते ही कवि के जीवन की फाइल भी पूर्ण हो जाती है। – इससे सिद्ध होता है कि व्यवस्था की प्रक्रिया मानववादी न होकर कठोर व मानवविरोधी सिद्ध होती है। व्यावहारिक उपचार न किए जाने से प्रक्रिया की प्रविधि ने एक मानव का अंत कर डाला।

प्रश्न 7. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“पर, ‘सब दिन होत न एक समान’ अकस्मात् दिन फिरे और सेठ को गरीबी का मुँह देखना पड़ा। संगीसाथियों ने भी मुँह फेर लिया और नौबत यहाँ तक आ गई कि सेठ व सेठानी भूखे मरने लगे।”

                                                                          [महायज्ञ का पुरस्कार – यशपाल]

(i) अकस्मात् बुरा समय किसका आ गया था तथा बुरा समय आने से पहले उसकी दशा कैसी थी? 

(ii) अपना बुरा समय दूर करने के लिए सेठ ने क्या उपाय सोचा ? इस उपाय के लिए उन्हें किसके पास जाना पड़ा? 

(iii) सेठ के मार्ग में कौन-सा महायज्ञ किया था। क्या वह वास्तव में महायज्ञ था। समझाकर लिखिए। 

(iv) कहानी का उद्देश्य लिखिए। 

उत्तर:

(i) धनी सेठ का बुरा समय आ गया था। इससे पहले उसकी दशा अति विनम्र, उदार और धर्मपरायण दानी सेठ की थी। उसके द्वार से कोई खाली न जाता था। वह यज्ञ करवाया करता था।

(ii) अपनी बुरी दशा दूर करने के लिए सेठ ने एक यज्ञ बेचने का उपाय सोचा। उसने कुंदनपुर की सेठानी के पास जाकर एक यज्ञ बेचने का निर्णय किया।

(iii) सेठ ने मार्ग में एक भूखे कुत्ते को अपनी चारों रोटियाँ खिला दी और स्वयं केवल जल से संतोष किया। कुत्ता रोटी की शक्ति पाकर समर्थ व स्वस्थ हो उठा। यही सेठ का महायज्ञ था क्योंकि इसमें सच्ची सेवा-भावना थी न कि अपने धनी होने का घमंड।

(iv) प्रस्तुत कहानी का उद्देश्य दान और परोपकार के सच्चे स्वरूप से परिचित कराना है। यज्ञ कमाने की इच्छा से व धन-दौलत लुटाकर किए गए दान-यज्ञ आदि से पुण्य की प्राप्ति नहीं होती। निःस्वार्थ भाव से, अभिमान और अहं त्यागकर किया गया दान या यज्ञ ही वास्तव में सच्चा महायज्ञ है।

साहित्य सागर – पद्य भाग

प्रश्न 8. निम्नलिखित पद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“लाठी में गुण बहुत हैं, सदा राखिये संग। गहरि, नदी, नारी जहाँ, वहाँ बचावै अंग।। वहाँ बचावै अंग, झपटि कुत्ता कहँ मारे। दुश्मन दावागीर, होयँ तिनहूँ को झारै।। कह ‘गिरिधर कविराय’ सुनो हो धूर के बाठी।। सब हथियार के छाँड़ि, हाथ महँ लीजै लाठी।।”

                                                                       [कुंडलियाँ – गिरिधर कविराय]

(i) इस कुंडली में किसकी उपयोगिता बताई गई है ? कवि ने किस समय मनुष्य को लाठी रखने का परामर्श दिया है? 

(ii) लाठी हमारे शरीर की सुरक्षा किस प्रकार करती है 

(iii) लाठी किन तीनों से निपटने में सहायक होती है और किस प्रकार? 

(iv) कवि सब हथियार छोड़कर लाठी लेने की बात क्यों कर रहे हैं? अपने विचार व्यक्त करते हुए कुंडलियाँ लेखन का उद्देश्य स्पष्ट कीजिए। 

उत्तर :

(i) प्रस्तुत कुंडली में कवि ने लाठी के गुणों तथा उपयोगिता पर प्रकाश डाला है। कवि ने गहरी नदी, नाला आदि से सामना होने पर लाठी की उपयोगिता का वर्णन किया है। लाल

(ii) यदि कुत्ते या शत्रु से कभी भी सामना हो जाए और उस समय हमारे पास लाठी हो, तो किसी भी प्रकार की शारीरिक हानि नहीं हो सकती।

(iii) लाठी कुत्ते, दुश्मन और नदी नाले से निपटने में सहायक होती है। कुत्ते और दुश्मन को लाठी से भगाया जा सकता है। नदी-नाले की गहराई नापकर लाठी द्वारा उन्हें पार किया जा सकता है।

(iv) कवि लाठी को सब हथियारों से ऊपर मानते हैं। लाठी से गहरी नदी-नाले का सामना किया जा सकता है। इससे कुत्ते और दुश्मन को डरा या धमकाकर भगा सकते हैं। अतः यह हथियार सहज व कारगर सिद्ध होता है।

प्रश्न 9. निम्नलिखित पद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“चाट रहे जूठी पत्तल वे कभी सड़क पर खड़े हुए, और झपट लेने को उनसे कुत्ते भी हैं अड़े हुए। ठहरो, अहो मेरे हृदय में है अमृत, मैं सींच दूंगा। अभिमन्यु जैसे हो सकोगे तुम, तुम्हारे दुःख मैं अपने हृदय में खींच लूँगा।”

                                               [भिक्षुक – सूर्यकान्त त्रिपाठी – “निराला’]

(i) पहली दो पंक्तियों में कवि ने क्या दृश्य प्रस्तुत किया है ? 

(ii) इस भावुक दृश्य से हमारे हृदय में क्या भाव उत्पन्न होते हैं ? 

(iii) क्या भिक्षुकों की मदद करना मानवीय धर्म नहीं है ? यहाँ अभिमन्यु का उदाहरण कवि ने क्यों दिया 

(iv) प्रस्तुत कविता का केंद्रीय भाव लिखिए। 

उत्तर:

(i) कवि ने प्रथम दो पंक्तियों में सड़क पर जूठी पत्तल चाट रहे लोगों तथा उनसे वे पत्तलें छीन लेने के प्रयास में सक्रिय कुत्तों का वर्णन किया है।

(ii) इन भावुक दृश्य से हमारे हृदय में करुणा व संवेदना के भाव उत्पन्न होते हैं। इसके मूल में सामाजिक विषमता का वर्णन हुआ है।

(iii) भिक्षुकों की सहायता करना मानवीय धर्म हो सकता है यदि उन्हें सकारात्मक रोज़गार की ओर प्रेरित किया जाए। कवि ने भिक्षुक को प्रेरणा देते हुए अभिमन्यु की भाँति अपने अधिकारों के लिए संघर्ष करने की प्रेरणा की है।

(iv) प्रस्तुत कविता में कवि ने भिक्षुक की दयनीय दशा का वर्णन करते हुए सामाजिक वर्ग-भेद की ओर संकेत किया है। कवि उस व्यवस्था को कोस रहे हैं जिसमें किसी भी सामाजिक को भीख माँगने जैसा घृणित व अपमानजनक कार्य करना पड़ता है।

प्रश्न 10. निम्नलिखित पद्यांश को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“मैं पूर्णता की खोज में दर-दर भटकता ही रहा प्रत्येक पग पर कुछ-न-कुछ रोड़ा अटकता ही रहा पर हो निराशा क्यों मुझे ? जीवन इसी का नाम है। चलना हमारा काम है।”

                                                             [चलना हमारा काम है – शिवमंगल सिंह ‘सुमन’]

(i) कवि ने मनुष्य के जीवन के बारे में क्या कहा है तथा क्यों ? 

(ii) कवि के अनुसार जीवन का महत्त्व किसमें है ? स्पष्ट कीजिए। 

(iii) जीवन में सुख-दुख और आशा-निराशा के प्रति हमारा क्या दृष्टिकोण होना चाहिए ? अपने दुखों और निराशा के लिए हमें किसको दोष देना उचित नहीं है तथा क्यों ? समझाकर लिखिए। 

(iv) प्रस्तुत कविता के माध्यम से कवि ने पाठकों को क्या संदेश दिया है ? 

उत्तर :

(i) कवि शिवमंगल सिंह ‘सुमन’ ने जीवन को अपूर्ण कहा है। जीवन में सुख-दुख आते रहते हैं। कभी कुछ मिल जाता है तो कभी कुछ खो जाता है। आशा-निराशा निरंतर सक्रिय रहती है। ऐसा जीवन पूर्ण नहीं कहा जा सकता।

(ii) कवि के अनुसार जीवन का महत्त्व पथ में आने वाली बाधाओं के बावजूद निरंतर अग्रसर होने में है। बाधाओं से निराश नहीं होना चाहिए क्योंकि इन बाधाओं को पार करना ही तो जीवन है।

(iii) कवि के अनुसार आशा-निराशा एवं सुख-दुख जीवन के अनिवार्य अंग है। अपने दुखों और निराशा के लिए विधाता को दोष देना उचित नहीं है क्योंकि दृढ़ता से अविचल भाव से पथ की बाधाओं या कठिनाइयों को दूर करना ही जीवन है।

(iv) प्रस्तुत पंक्तियों में कवि का मानना है कि जीवन के पथ पर अनेक प्रकार की कठिनाइयाँ आया करती हैं। अनेक साथी हमें बीच मार्ग छोड़कर चले जाते हैं। इन बातों से निराश नहीं होना चाहिए। जो राही अपने पथ पर निरंतर आगे बढ़ता रहेगा, उसी को सफलता प्राप्त होगी।

नया रास्ता – (सुषमा अग्रवाल)

प्रश्न 11. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

अमित मेज पर बैठा खाना खाने लगा। माँ भी उसके पास बैठ गईं। बैठे-बैठे वह न जाने किन विचारों में खो गईं और एकटक अमित की ओर ही देखती रहीं।

(i) माँ अमित की तरफ देखते हुए क्या सोच रही थी ? 

(ii) दीपक कौन है ? उन्हें किस बात का कार्ड मिला ? 

(iii) मधु के बारे में माँ ने अमित से क्या कहा ? 

(iv) माँ को घर में बहू की कमी क्यों अखरती थी ? 

उत्तर:

(i) अमित की माँ सोच रही थी कि दीपक अमित से दो वर्ष छोटा है। उसका विवाह हो रहा है। परंतु अमित उससे बड़ा होते हुए भी अभी तक शादी नहीं कर पाया था।

(ii) दीपक मधु का ममेरा भाई है। उन्हें उसकी शादी का कार्ड मिला है। शनिवार के दिन शादी और रविवार को प्रीतिभोज है।

(ii) माँ अमित से कहती है कि मधु भी अब विवाह के योग्य हो गई है। वह उसकी शादी तो करना चाहती है परंतु साथ ही यह चाहती है कि अमित की शादी पहले हो जाए क्योंकि वह मधु से सात वर्ष बड़ा है।

(iv) माँ का विचार था कि मधु के विवाह के सारे काम वह अकेले नहीं कर सकती। यदि घर में बहू हो तो काम सरल व सहज ढंग से हो जाएँगे।

प्रश्न 12. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :”दूसरे ही क्षण मीनू उसके सामने आ गई और खुशी से उसके हाथ चूम लिये। अरे मीनू, आज तो बहुत प्रसन्न दिखाई दे रही हो। क्या बात है ? नीलिमा ने पूछा”

(i) मीनू कौन है ? उसकी प्रसन्नता का कारण क्या है ? 

(ii) ‘उसके’ सर्वनाम का प्रयोग किसके लिए किया गया है ? उसका संक्षिप्त परिचय दीजिए। 

(iii) मीनू के चेहरे पर किस बात को सोचकर उदासी छा जाती है ? मीनू की उदासी कब और किस प्रकार दूर होती है ? समझाकर लिखिए। 

(iv) प्रस्तुत उपन्यास का उद्देश्य स्पष्ट कीजिए। 

उत्तर :

(i) मीनू और नीलिमा दोनों सहेलियाँ हैं। मीनू दयाराम की बड़ी पुत्री है। वह रोहित तथा आशा की बड़ी बहन है। उसकी प्रसन्नता का कारण यह है कि उसका फोटो मेरठ वालों ने पसंद कर लिया है।

(ii) ‘उसके’ सर्वनाम का प्रयोग नीलिमा के लिए किया गया है। वह मीनू की सखी है और उससे कहीं अधिक सुंदर है।

(iii) मीनू के चेहरे पर उदासी छा जाती है क्योंकि उसको कई लड़कों ने विवाह के प्रसंग में देखा था परंतु किसी ने भी उसे पसंद नहीं किया था क्योंकि वह अधिक सुंदर नहीं है। मीनू की उदासी दूर हो जाती है जब उसे पता चलता है कि वह प्रथम श्रेणी में और नीलिमा द्वितीय श्रेणी में पास हुई है।

(iv) प्रस्तुत उपन्यास में दिखाया गया है कि समाज में सफलता के लिए साहस की आवश्यकता है। आज समय आ चुका है कि सभी युवतियाँ साहस व धैर्य से काम लेकर उच्च शिक्षा प्राप्त करें और दहेज की महामारी का उन्मूलन करें ताकि किसी को आत्म हत्या न करनी पड़े।

प्रश्न 13. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“परंतु तुम ये तो सोचो कि आजकल शादी के बाद ही दावत दी जाती है। यदि हम प्रीतिभोज नहीं देंगे तो दुनिया वाले क्या कहेंगे और फिर बड़े घर की लकड़ी आ रही है। दावत नहीं देंगे तो सब लोग बात बनाएंगे।”

(i) उपर्युक्त कथन किसने, किस अवसर पर कहा था ? 

(ii) ‘बड़े घर की लड़की’ किसको कहा गया है ? उसका संक्षिप्त परिचय दीजिए। 

(iii) उपर्युक्त कथन के विषय में अमित के क्या विचार हैं ? वह इस शादी से सहमत क्यों नहीं है ? धनीमल जी ने शादी के प्रस्ताव के साथ क्या लालच दिया था ? 

(iv) आजकल के मध्यमवर्गीय परिवारों में विवाह आदि रीति-रिवाज़ों के अवसर पर होने वाले फिजूलखर्चे पर अपने विचार लिखिए। 

उत्तर :

(i) उपर्युक्त कथन अमित के पिता मायाराम ने अपनी पत्नी से कहा था। यह कथन अमित के विवाह की तैयारियों के प्रसंग में कहा गया है।

(ii) ‘बड़े घर की लड़की’ सरिता को कहा गया है। वह अमित की मंगेतर है और धनीमल की पुत्री है। धनी पिता की पुत्री होने के कारण उसकी घर के काम-काज में कोई विशेष रुचि नहीं है। उसका विचार है कि वह शादी के बाद उसके पिता उसके साथ एक नौकर भेज देंगे, जो घर का काम करेगा।

(iii) अमित के विचार शादी के संदर्भ में दिखावे का विरोध करते हैं। उपर्युक्त वार्तालाप सुनकर उसके हृदय में तूफ़ान आ जाता है। वह सरिता के पिता की ललचाने वाली प्रवृत्ति से भी नाराज़ है क्योंकि वह अलग फ़्लैट देकर सरिता को सास-ससुर से अलग रखने का षड्यंत्र करना चाहता है।

(iv) मेरे विचार में विवाह के अवसर पर हर प्रकार की फिजूलखर्ची बंद होनी चाहिए। रीति-रिवाज़ों व परंपराओं के नाम पर ठगे जाना बुद्धिमानी नहीं है। विवाहों पर किए गए खर्च व लिए गए अपार ऋण बाद के जीवन को नरक बना देते हैं। सादा विवाह वर व वधू दोनों के लिए उचित है। दहेज का कलंक तो जड़ समेंत उखाड़ना होगा, तभी स्वस्थ समाज का निर्माण हो सकेगा।

एकांकी संचय

(Ekanki Sanchay)

प्रश्न 14. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“काश कि मैं निर्मम हो सकती, काश कि मैं संस्कारों की दासता से मुक्त हो सकती ! हो पाती तो कुल, धर्म और जाति का भूत मुझे संग न करता और मैं अपने बेटे से न बिछुड़ती।”

                                                                            [संस्कार और भावना – विष्णु प्रभाकर]

(i) वक्ता कौन है ? यह वाक्य वह किसे कह रही है ? 

(ii) ‘संस्कारों की दासता सबसे भयंकर शत्रु है’ यह कथन एकांकी में किसका है ? उसने ऐसा क्यों कहा ? 

(iii) संस्कारों की दासता के कारण वक्ता को किन-किन कठिनाइयों का सामना करना पड़ा ? 

(iv) प्रस्तुत एकांकी द्वारा एकांकीकार ने क्या संदेश दिया है ? 

उत्तर :

(i) वक्ता ‘संस्कार और भावना’ शीर्षक एकांकी की पात्र माँ है। वह उक्त वाक्य अपने छोटे पुत्र अतुल की पत्नी उमा से कह रही है।

(ii) ‘संस्कारों की दासता सबसे भयंकर शत्रु है’-यह वाक्य माँ के सबसे बड़े बेटे ने कहा था जिसे इस समय माँ स्मरण कर रही है। उसने ऐसा इसलिए कहा था कि उसकी माँ अपनी बड़ी बहू के विषय में अच्छा नहीं सोचती थी।

(iii) संस्कारों की दासता के कारण माँ अपने बड़े पुत्र अविनाश तथा उसकी पत्नी से बिछुड़ जाती है। उसे इस बात का गहरा दुख था कि अविनाश ने एक विजातीय बंगाली लड़की से विवाह किया था।

(iv) प्रस्तुत एकांकी द्वारा लेखक ने बताना चाहा है कि जाति, धर्म, क्षेत्रीयता आदि मानव विरोधी नहीं हो सकते हम संस्कारों के नाम पर अपनी संतान से दूर नहीं हो सकते।

प्रश्न 15. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“जानता हूँ युधिष्ठिर ! भली भाँति जानता हूँ। किन्तु सोच लो, मैं थककर चूर हो गया हूँ, मेरी सभी सेना तितर-बितर हो गई है, मेरा कवच फट गया है, मेरे शास्त्रास्त्र चुक गए हैं। मुझे समय दो युधिष्ठिर! क्या भूल गए मैंने तुम्हें तेरह वर्ष का समय दिया था ?”

                                                                        [महाभारत की एक साँझ – भारत भूषण अग्रवाल]

(i) वक्ता कौन है ? वह क्या जानता था ? 

(ii) वक्ता इस समय असहाय क्यों हो गया था ? क्या वह वास्तव में असहाय था ?

(iii) श्रोता कौन है ? श्रोता को तेरह वर्ष का समय कैसे दिया था ? इस कथन को आप कितना सही – मानते हैं ? 

(iv) वक्ता ने जो समय दिया था उसका उद्देश्य क्या था ? क्या वह अपने उद्देश्य में सफल हो सका? स्पष्ट कीजिए। 

उत्तर :

(i) प्रस्तुत संवाद का वक्ता दुर्योधन है। वह जानता था कि उसने कालाग्नि को वर्षों घी देकर उभारा है और उसकी लपटों में सभी साथी स्वाहा हो गए।

(ii) वक्ता दुर्योधन वास्तव में असहाय हो गया था क्योंकि इतने लंबे युद्ध ने उसे निराशा और अवसाद के अतिरिक्त कुछ नहीं दिया था। 

(iii) श्रोता युधिष्ठिर है। उसे तेरह वर्ष का वनवास दिया गया था। दुर्योधन ने पांडवों को वनवास देकर उन्हें अपने मार्ग से हटाना चाहा था।

(iv) दुर्योधन ने जो वनवास का समय दिया था, वह पांडवों को क्षीण करने के लिए दिया था। वह सोचता था कि पांडव बिखर जाएँगे और उन पर विजय पाना सरल हो जाएगा। परंतु यह उसकी भूल थी।

प्रश्न 16. निम्नलिखित अवतरण को पढ़िए और उसके नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर हिंदी में लिखिए :

“आज कुसमय नाच-रंग की बात सुनकर मेरे मन में शंका हुई थी। इसलिये मैंने कुँवर को वहाँ जाने से रोक दिया था। संभव था कि कुँवर वहाँ जाते और बनवीर अपने सहायकों से कोई काण्ड रच देता।”

                                                                                              [दीपदान – डॉ. रामकुमार वर्मा]

(i) उपर्युक्त कथन का वक्ता कौन है ? उसका संक्षिप्त परिचय दीजिए। 

(ii) नाच-रंग का आयोजन किसने और किस उद्देश्य से किया था ? 

(iii) बनवीर कौन है ? उसका परिचय देते हुए उसका चरित्र-चित्रण कीजिए। 

(iv) ‘दीपदान’ एकांकी के शीर्षक की सार्थकता बताइए तथा एकांकी के माध्यम से एकांकीकार ने क्या शिक्षा दी है ? 

उत्तर :

(i) उपर्युक्त कथन की वक्ता पन्ना है। वह कुँवर उदय सिंह का संरक्षण करने वाली धाय है। वह चंदन की माँ भी है जिसकी आयु अभी 30 वर्ष है।

(ii) नाच-रंग का आयोजन बनवीर ने करवाया था। वह महाराणा साँगा के भाई पृथ्वीराज का दासी पुत्र था। उसकी आयु लगभग 32 वर्ष थी। उसने नाच-रंग का आयोजन करवाया था ताकि कुँवर उदय सिंह की हत्या की जा सके।

(iii) बनवीर प्रस्तुत एकांकी का खलनायक है। वह महाराणा साँगा के भाई पृथ्वीराज का दासी से उत्पन्न पुत्र था। वह क्रूर, अत्याचारी तथा दुष्ट था। वह महाराणा विक्रमादित्य की हत्या करता है और राजसिंहासन पाने के लिए उदयसिंह के प्राण लेने की योजना बनाता है।

(iv) प्रस्तुत एकांकी में डॉ० रामकुमार वर्मा ने राजपूताने की वीरांगना पन्ना धाय में अभूतपूर्व बलिदान का चित्रण किया है। इस ऐतिहासिक एकांकी द्वारा राष्ट्र-भक्ति तथा राष्ट्र-प्रेम का चित्रण किया गया है। सच्चे देशभक्त पन्ना धाय की तरह अपने पुत्र की बलि चढ़ाकर भी देश के हित की रक्षा करते हैं।

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